हार न मानें, आगे बढ़ते जाएं, सफलता जरूर मिलेगी- डॉ. गोस्वामी
-मोशन एजुकेशन के मोटिवेशनल सेमिनार में बोले जिला कलेक्टर
कोटा.
डॉ. गोस्वामी मंगलवार शाम मोशन एजुकेशन के दक्ष कैम्पस में आयोजित मोटिवेशनल सेमिनार में स्टूडेंट्स को संबोधित कर रहे थे। इससे पहले मोशन एजुकेशन के चैयरमैन सुरेंद्र विजय और सीईओ नितिन विजय ने जिला कलक्टर का स्वागत किया। सेमिनार में कलेक्टर ने अपने अनुभव शेयर करते हुए बताया कि वे वर्ष 2001 में मेडिकल की कोचिंग के लिए कोटा आए थे। पहला प्रयास विफल रहा लेकिन दूसरे अटेम्प्ट में सफलता मिल गई और अच्छी रैंक हासिल कर सरकारी कॉलेज से एमबीबीएस की। उसके बाद अस्पताल में काम किया। साथ ही यूपीएससी की तैयारी जारी रखी। साल 2015 में उन्हें पहले ही प्रयास में 152वीं रैंक मिली।
अटेम्पट की सीमा और बैकअप प्लान रखें
उन्होंने कहा कि असफलता के बाद निराश न हों। नीट या जेईई कंपटीशन है। लाखों विद्यार्थी निष्ठा के साथ इनकी तैयारी करते हैं। अगर आप असफल हुए हैं तो इसका मतलब यह नहीं है कि आपने पढ़ाई अच्छी नहीं की। हो सकता है किसी और ने आपसे भी ज्यादा मेहनत की हो, उसकी क्षमताएं आपसे ज्यादा हो। उसमें निराश होने की बिल्कुल आवश्यकता नहीं है। अगर आप डिजर्व करते हैं तो प्रयास जारी रखें, लेकिन इसकी एक सीमा जरुर होनी चाहिए। साथ ही, हमेशा बैकअप प्लान भी रखें।
आपका होना सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण
कलेक्टर ने कहा- आपके परिवार ने आपको यहां इसलिए भेजा है ताकि आपका भविष्य सुंदर और सुखद हो। उनके लिए आपको डॉक्टर इंजीनियर बनता देखना, खुद के लिए नहीं है, आपके लिए ही है। वे चाहते हैं कि आपका भविष्य सुरक्षित हो जाए। उनके लिए आपकी कामयाबी से ज्यादा आपका होना महत्वपूर्ण है। डॉक्टर-इंजीनियर नहीं भी बने तो भी आपके माता-पिता दुखी नहीं होंगे, बस आप खुश होने चाहिए। आप खुश रहोगे, अपनी मेहनत, प्रयास करते रहोगे तो माता-पिता भी खुश रहेंगे।
लक्ष्य मुश्किल न हो तो मजा नहीं
कलेक्टर ने स्टूडेंट्स से चर्चा करते हुए कहा कि जो लक्ष्य मुश्किल न हो उसमें मजा नहीं है। उन्होंने कहा- प्लान बी जरूर रखें, मेहनत कभी बर्बाद नहीं होती, निश्चित तौर पर परिणाम अच्छे होंगे। उन्होंने स्टूडेंट्स को स्ट्रेस से बचने के उपाय बताते हुए कहा- म्यूजिक सुनें, माता-पिता, भाई-बहन से नियमित बात करें। लंबी गहरी सांस लें। तनाव की उम्र कभी लंबी नहीं होती। कुछ क्षण खुद को संभाल लें और दिन को छोटे हिस्सों में बांटकर पढ़ाई करें। मुश्किल टॉपिक्स को पहचानें, उनके टेस्ट दें, उस पर पर ज्यादा समय दें। उन्होंने कहा एग्जाम में रिवीजन की महत्वपूर्ण भूमिका है। इसलिए रिवीजन जरूर करें।
स्टूडेंट्स के सभी सवालों का दिया जवाब
कलेक्टर ने स्टूडेंट्स के सवालों, शंकाओं का समाधान दिया। स्टूडेंट्स ने रोजमर्रा की पढ़ाई में आने वाली परेशानियों, स्टडी के तौर तरीके, पढ़ाई में एकाग्रता, टाइम मैनेजमेंट और सफलता के टिप्स लिए।
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