आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

11 मई 2020

*कहा विलुप्त हो गए एनजीओ*

*कोरोना संकट#*
*कहा विलुप्त हो गए एनजीओ*
देश की विकास परियोजनाओं में रुकावट पैदा करने में सबसे आगे रहने वाले संगठन कोरोना काल में कही दिखाई नही दे रहे है। पर्यावरण संरक्षण के नाम पर तो कभी मानवाधिकार का झंडा हाथ में उठाये मीडिया में छाए रहने वाले ये स्वयंसेवी संगठन आखिर कहां विलुप्त हो गए है। क्या कोरोना महामारी से लड़ रहे देश के लोगो को इनकी जरूरत नही है। या इनका काम केवल विरोध करना ही है।
पूरे देश में करीब 32 लाख एनजीओ है। इन में से केवल 4 लाख संगठन ही ऐसे है,जो अपने बही-खाते दुरुस्त रखते है। परंतु इनमे से कितने एनजीओ है जो कोविड-19 से लड़ाई में मदद कर रहे है। जबकि ये संगठन केंद्र और राज्य सरकारों से हज़ारो करोड़ की आर्थिक मदद लेते है।विशेषकर स्वास्थ्य संबंधी जागरूकता के लिए देश में सबसे ज्यादा पंजीकृत एनजीओ है। जो करोड़ो रुपये के वारे-न्यारे करने में लगे है। भारत सरकार के नीति आयोग के एक आंकड़े के अनुसार राजस्थान प्रदेश में 3381 पंजीकृत एनजीओ है जो सरकार से आर्थिक मदद प्राप्त कर रहे है,परंतु कोरोना से आम जन की सुरक्षा के लिए ये संगठन किसी भी प्रकार से सक्रिय नज़र नही आ रहे है।
कोरोना संकट की घड़ी में ये साफ हो गया कि ज्यादातर एनजीओ के खाने और दिखाने के दांत अलग-अलग है।स्वास्थ्य, पुलिस और शिक्षा विभाग के लोग तो अपने जीवन को खतरे में डालकर पिछले दो माह से इस लड़ाई में निरंतर जुटे है,लेकिन एनजीओ नदारद है।

प्रताप सिंह तोमर@9414307946

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...