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14 जून 2013

लोहे के तार पर कपड़े सुखाते समय करंट आया, बहू और ससुर की मौत

 

अयाना (कोटा)। लोहे के तार पर कपड़े सुखाते समय एक महिला करंट से चिपक गई। उसे बचाने के प्रयास में उसका ससुर भी करंट की चपेट में आ गया। दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। दोनों को तार से अलग करते समय महिला का पति व बेटा भी मामूली रूप से झुलस गए।
 
घटना अयाना  थाना इलाके में लक्ष्मीपुरा ग्राम पंचायत के अरनिया गांव की है। शुक्रवार सुबह 6 बजे यशोदा पत्नी दुर्गाशंकर प्रजापत (35) नहाने के बाद मकान के भीतर ही लोहे के तार पर कपड़े सुखा रही थी। जैसे ही उसने कपड़े डाले तो तार में आ रहे करंट की चपेट में आ गई।
 
 
पास में ही बैठे ससुर चौथमल प्रजापत ने जब उसे चिपका हुआ देखा तो वो उसे बचाने के लिए दौड़े। उन्होंने तार से बहू को अलग करने का प्रयास किया, लेकिन वो भी उसकी चपेट में आ गए।  इससे दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। उन्हें बचाने के प्रयास में यशोदा के पति दुर्गाशंकर व बेटे विनोद के भी करंट से हाथ झुलस गए।
 
 
 
चीखपुकार सुनकर आसपास के लोग वहां जमा हो गए। चारों को अस्पताल ले जाया गया। जहां यशोदा व चौथमल को डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया तथा दुर्गाशंकर व विनोद को प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे गई। घटना की जानकारी मिलने पर अयाना थानाधिकारी दिग्विजयसिंह भी मौके पर पहुंचे।
 
 
:पूरा मकान था करंट की चपेट मेंत्नप्राथमिक जांच में पता चला कि घटना के समय पूरा मकान करंट की चपेट में था। जांच में सामने आया कि विद्युत पोल से लिए गए कनेक्शन की विद्युत लाइन मकान के पिछवाड़े में मकान में लगे लोहे के फ्रेम से सटकर गुजर रही थी। फ्रेम में करंट आने से दीवारों में करंट आया और उसी से लोहे के तार में करंट पास हुआ और ये हादसा हो गया। 
 
:अवकाश नहीं होता तो शायद हादसा टल जाता
घटना के बाद गांव में चर्चा थी कि मृतक बीपीएल परिवार की श्रेणी में है और नरेगा में मजदूरी कर परिवार का गुजर बसर कर रहा था, लेकिन शु़क्रवार को नरेगा में अवकाश होने से वह घर पर ही थे। अन्य दिनों वे नरेगा कार्य पर जल्दी ही घर से निकल जाते थे। 
 
अवकाश नहीं होता तो वे सुबह ही चले गए होते और संभवत: हादसा टल जाता।
 
मुआवजा दिलाने की मांग
लक्ष्मीपुरा ग्राम पंचायत के सरपंच रमेश चन्द डोली, एससी-एसटी अत्याचार सतर्कता समिति सदस्य राजेन्द्र धाकड़ घटना स्थल पर पहुंचे। उन्होंने कहा कि मृतक भूमिहीन किसान होने के साथ बीपीएल परिवार की श्रेणी में आता है, ऐसे में मृतक परिवार के सदस्यों को आर्थिक सहायता दी जाए।

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