आपका-अख्तर खान

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03 मई 2013

हम क्या हैं ?


१- हम वो हैं जो अपनी बहन के छेड़े जाने पर मरने मारने पर आमादा हो जाते हैं मगर दूसरी लड़कियों को छेड़ने नियम से कन्या महाविद्यालय के सामने खड़े होते हैं!
२- हम वो हैं जो अपनी सास द्वारा जिंदगी भर सताए गए मगर जब हमारी बहू आई तो बजाय उसे सताने के लिए उससे भी रौद्र रूप धारण कर लेते हैं! क्योंकि हम बदला प्रेमी हैं!
३- हम वो हैं जो अपने बच्चों को झूठ बोलने पर मारते हैं ,सजा देते हैं मगर स्वयं अपने स्वार्थों की खातिर बिना संकोच हज़ारों झूठ बोलते हैं!
४- हम वो हैं जो वेलेंटाइन डे के विरोध में लड़के लड़कियों पर धावा बोलते हैं , ग्रीटिंग कार्ड्स की दुकानें तोड़ते हैं और शाम को नहा धोकर अपनी गर्लफ्रेंड से मिलने जाते हैं!
५- हम वो हैं जो अपनी बच्चियों को ज़माने भर से महफूज़ रखते हैं मगर दूसरों की मासूस बच्चियों के सीने पर अनजाने ही हाथ फिरा देते हैं!
६- हम वो हैं जो किसी सेमीनार में करप्शन पर जोरदार भाषण देकर आते हैं और ऑफिस आते ही बिना संकोच लिफाफा स्वीकार करते हैं!
७- हम वो हैं जो अपने देश में चाहे जहां मूत्र विसर्जन के लिए खड़े हो जाते हैं , हर शासकीय दीवार या कोने को थूकने का स्थान समझते हैं , ट्रेन में अपनी बर्थ के नीचे केले के छिलके छोड़ कर आते हैं मगर विदेशों में जाकर सारा अनुशासन दो मिनिट में सीख जाते हैं फिर अपने देश की गंदगी पर लानत भेजते हैं !
८-हम वो हैं जो अंग्रेजी बोलते, ब्रांडेड कपडे पहने किसी भी व्यक्ति से फ़ौरन से पेशतर प्रभावित हो जाते हैं , बिना उसके आंतरिक चरित्र को जाने परखे जबकि हिन्दी की वर्णमाला या गिनती नहीं जानने पर हम गर्व से हँसते हैं!
९- हम वो हैं जो अपने बच्चों को सिर्फ स्टेटस मेंटेन करने के लिए उस स्कूल में डाल देते हैं जिसमे पढ़ाने की न हमारी औकात है और नहं उस स्कूल की पढ़ाई से संतुष्ट हैं!
१०- हम वो हैं जो सरकारी नौकरी इसलिए पाना चाहते हैं क्योंकि वहाँ मक्कारी ,भ्रष्टाचार और निकम्मेपन के बावजूद हमें जीवन भर कोई नौकरी से नहीं निकाल सकता!

हम और भी न जाने क्या क्या हैं! कुल मिलाकर हम दोहरे मापदंड और दिखावे का जीवन जीने वाले देशभक्त हैं और भारत के सच्चे नागरिक हैं! और हाँ ..हम भारतीय संस्कृति का ढोल बहुत अच्छा पीटते हैं, बिना जाने ये ढोल फटा हुआ है और इससे अब बहुत बेसुरी आवाज़ निकलती है!

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