विशेष न्यायाधीश गौरीशंकर दुबे की अदालत में घनश्यामदासनगर निवासी चंदाबाई पति कुंजीलाल पहुंची और दया की गुहार की- साहब मेरा लड़का गोविंद श्रीनगर कॉलोनी के तिहरे हत्याकांड में जेल में है और बीमार है। न्यायाधीश ने उसे समझाया प्रकरण विचाराधीन है और जमानत की कार्रवाई नियमानुसार होती है। हम जेल के डॉक्टर को आपके पुत्र का अच्छा इलाज करने के लिए आदेश दे देंगे। इस पर महिला कोर्ट कक्ष से चली गई।
कुछ ही देर में वही महिला विजय शर्मा नामक व्यक्ति को पीटते और घसीटते हुए न्यायाधीश के सामने लेकर आई। जज ने पूछा- यह क्या है? महिला ने कहा साहब, यही वह व्यक्ति है जिसने मुझसे मेरे पुत्र की जमानत के नाम पर पांच हजार रुपए लिए और कहा जज साहब से बात करके जमानत करवा दूंगा। अब यह चक्कर लगवा रहा है। इस पर जज ने आरोपी को कटघरे में खड़ा कर दिया। बाद में आरोपी को महिला के आवेदन के साथ एमजी रोड पुलिस को नियमानुसार कार्रवाई के आदेश के साथ भिजवा दिया।
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