आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

23 अक्टूबर 2011

मंगलवार-रूप चतुर्दशी का शुभ योग- इस हनुमान मंत्र स्तुति से बढे़गा रुतबा व ख्याति /

सौंदर्य के साथ चरित्र का उजलापन जीवन में यश, ऐश्वर्य, सुख और सफलता सुनिश्चित कर देता है। दु:ख-दरिद्रता से मुक्ति के भाव व सूरत के साथ सीरत को भी निखारने के ऐसे ही संदेश के साथ ही रूप चतुर्दशी (25 अक्टूबर) का पर्व मनाया जाता है।

यह शुभ तिथि बुद्धि, बल और गुणों का सौंदर्य देने वाले श्री हनुमान के जन्म की शुभ घड़ी भी मानी जाती है। शास्त्रों के मुताबिक श्री हनुमान की जन्मतिथि चैत्र शुक्ल पूर्णिमा भी है। लेकिन मतान्तर से कार्तिक कृष्ण चतुर्दशी, मंगलवार की अर्द्धरात्रि में भी हनुमान का जन्म माना गया है।

हनुमान की मंगलवार, शनिवार, पूर्णिमा या रूप चतुर्दशी पर स्तुति के लिए शास्त्रों में एक विशेष हनुमान मंत्र स्तुति संकटमोचक होने के साथ सुख-समृद्ध बनाने वाली मानी गई है। श्री हनुमान के स्वरूप, शक्ति व गुणों की महिमा बताने वाला यह पाठ हनुमान स्तवन के नाम से प्रसिद्ध है।

श्री हनुमान की सिंदूर चढ़ी प्रतिमा के सामने लाल आसन पर बैठ गुग्गल धूप व घी का दीप लगाकर नीचे लिखे स्तवन का पाठ करें। अंत में दीप व कर्पूर आरती करें-

सोरठा

प्रनवऊं पवन कुमार खल बन पावक ग्यान घन।

जासु ह्रदय आगार बसहिं राम सर चाप धर।।



अतुलित बलधामं हेमशैलाभदेहं, दनुजवनकृशानुं ज्ञानिनामअग्रगण्यम्।

सकलगुणनिधानं वानराणामधीशं, रघुपतिप्रियं भक्तं वातंजातं नमामि।

गोष्पदीकृत वारिशं मशकीकृत राक्षसम्। रामायण महामालारत्नं वन्दे नीलात्मजं।

अंजनानंदनंवीरं जानकीशोकनाशनं। कपीशमक्षहन्तारं वन्दे लंकाभयंकरम्।

उलंघ्यसिन्धों: सलिलं सलिलं य: शोकवह्नींजनकात्मजाया:।

तादाय तैनेव ददाहलंका नमामि तं प्राञ्जलिंराञ्नेयम।

मनोजवं मारुततुल्यवेगं जितेन्द्रिय बुद्धिमतां वरिष्ठम्।

वातात्मजं वानरयूथमुख्यं श्रीरामदूतं शरणं प्रपद्ये।

आञ्जनेयमतिपाटलाननं काञ्चनाद्रिकमनीय विग्रहम्।

पारिजाततरूमूल वासिनं भावयामि पवमाननंदनम्।

यत्र यत्र रघुनाथकीर्तनं तत्र तत्र कृत मस्तकाञ्जिंलम।

वाष्पवारिपरिपूर्णलोचनं मारुतिं राक्षसान्तकाम्।

हनुमान स्तुति के बाद गुग्गल धूप व गो घृत दीप व कर्पूर आरती करें, प्रसाद बांटे व ग्रहण करें, सिंदूर मस्तक व घर में तिजोरी के दरवाजे पर लगाएं।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...