जयपुर। खाद्य राज्य मंत्री बाबूलाल नागर ने महानरेगा के नियमों का उल्लंघन करते हुए पत्नी सुनीता नागर के खेतों के बाहर पक्का करवा लिया। लोकायुक्त कार्यालय ने इस मामले को लेकर जांच के लिए प्रक्रिया शुरू कर दी है इसके लिए भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो से भी नागर के खिलाफ पुरानी शिकायतों का ब्योरा ले लिया है। साथ ही महानरेगा सम्बंधी इस मामले में अन्य तथ्य जुटाए जा रहे हैं।
रिपोर्ट में गंभीर सवाल
लोकायुक्त कार्यालय के पास पहुंची इस शिकायत के साथ जिला प्रशासन की वह रिपोर्ट भी आई है, जिसमें नागर की पत्नी सुनीता नागर को फायदा पहुंचाने के लिए महानरेगा कार्य करवाने की बात कही गई है। जयपुर जिले के कल्याणपुरा निवासी रामेश्वर लाल चौधरी ने लोकायुक्त कार्यालय को तत्कालीन एडीएम एम.पी. स्वामी की जांच रिपोर्ट सौंपी। इस में सार्वजनिक निर्माण विभाग की ओर से कराए गए महानरेगा के कार्य पर गम्भीर सवाल उठाए गए।
एक लाख पानी में डूबे
रिपोर्ट के अनुसार जयपुर की उगरियावास पंचायत क्षेत्र में फुलेरा बालाजी डामर सड़क के सहारे सुनीता नागर को फायदा पहुंचाने के लिए उनकी जमीन के सामने दिसम्बर 09 व जून 10 में पटरी सुदृढ़ीकरण कराया, जिसकी बिलकुल जरूरत ही नहीं था। मजेदार बात तो यह है कि सड़क सुदृढ़ीकरण का कार्य मई 09 में पीडब्ल्यूडी प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत पहले ही करा चुका था और वह अभी सही सलामत है। जिला प्रशासन ने जब यह कार्य रूकवाया तब तक इस पर एक लाख रूपए खर्च हो चुके थे।
जिला परिषद ने यह राशि वसूलते हुए पीडब्ल्यूडी अघिशाषी अभियंता सहित अन्य कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की थी।
यह भी की गई अनदेखी : महानरेगा के तहत कार्य की वित्तीय स्वीकृति के समय सामग्री पर 40 प्रतिशत से अघिक खर्च नहीं होने की शर्त थी, जांच रिपोर्ट के अनुसार सार्वजनिक निर्माण विभाग ने इसकी भी परवाह नहीं की।
यह भी कहा रिपोर्ट में
इस कार्य से जन साधारण को कोई फायदा नहीं था, तकमीने में पक्की पटरी बनाने के लिए बताए कारण भी सही नहीं थे। यह सड़क टूट भी जाती तो प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना में निर्माणकर्ता ठेकेदार सड़क की देखरेख के लिए जिम्मेदार था। सुनीता नागर के फार्म हाउसों के अलावा स्वयं खाद्य मंत्री बाबूलाल नागर के फार्म हाउस के पास भी ऎसा ही कार्य हो रहा था। नागर के खिलाफ की गई शिकायत पर लोकायुक्त कार्यालय ने पिछले दिनों पूछताछ की, हाल ही कुछ और दस्तावेज भी लोकायुक्त कार्यालय में दिए हैं।
रामेश्वर लाल चौधरी, शिकायतकर्ता
कार्य नहीं हुआ
सड़क पीडब्ल्यूडी की है। वहां महानरेगा के तहत कोई कार्य हो रहा है या नहीं, मुझे इसकी जानकारी नहीं है और ना ही मुझे इससे कोई लेना-देना है। मेरी पत्नी के नाम कोई फार्म हाउस नहीं है। मैं तो वहां से रोज गुजरता हूं वहां सुदृढ़ीकरण का कोई काम नहीं हुआ। कोई सड़क है तो वह हमारी थोड़े ही हो गई। शिकायत अनावश्यक छवि खराब करने के लिए की गई है।
बाबूलाल नागर, खाद्य राज्य मंत्री
कोई ऎसी शिकायत आई तो थी, जो सचिव को सौंप दी थी। मुझे जानकारी नहीं है।
जी.एल. गुप्ता, लोकायुक्त
नागर के खिलाफ पुरानी शिकायतों की रिपोर्ट हमें एसीबी से भी मिल गई है।
राकेश बंसल, सचिव लोकायुक्त
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