जो जिंदगी को
अपनी शर्तों पर
जीते हें
उन्हें कभी
ख़ुशी नहीं
मिलती ,
सच्ची ख़ुशी
सिर्फ
उन्हें ही मिलती हे
जो दूसरों के लियें
अपनी शर्तों को
अपने तरीकों को
बदल कर
जिया करते हें ।
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
तुम अपने किरदार को इतना बुलंद करो कि दूसरे मज़हब के लोग देख कर कहें कि अगर उम्मत ऐसी होती है,तो नबी कैसे होंगे? गगन बेच देंगे,पवन बेच देंगे,चमन बेच देंगे,सुमन बेच देंगे.कलम के सच्चे सिपाही अगर सो गए तो वतन के मसीहा वतन बेच देंगे.
15 जनवरी 2011
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apne bilkul sahi kaha dost .
जवाब देंहटाएंbadhai
अख्तर भाई, गागर में सागर सा भर दिया है आपने। बधाई स्वीकारें।
जवाब देंहटाएं---------
डा0 अरविंद मिश्र: एक व्यक्ति, एक आंदोलन।
एक फोन और सारी समस्याओं से मुक्ति।
बात बहुत गहरी है। कुर्बानी तक जाती है।
जवाब देंहटाएंआपने बिलकुल सही लिखा है साथ ही मैं श्रीमान ज़ाकिर अली ‘रजनीश’, मीनाक्षी पन्त और दिनेशराय द्विवेदी के कथन से पूरी तरह से सहमत हूँ.
जवाब देंहटाएंनियमित रूप से मेरा ब्लॉग http://rksirfiraa.blogspot.com , http://sirfiraa.blogspot.com, http://mubarakbad.blogspot.com, http://aapkomubarakho.blogspot.com, http://aap-ki-shayari.blogspot.com & http://sachchadost.blogspot.com देखें और अपने बहूमूल्य सुझाव व शिकायतें अवश्य भेजकर मेरा मार्गदर्शन करें. अच्छी या बुरी टिप्पणियाँ आप भी करें और अपने दोस्तों को भी करने के लिए कहे.# निष्पक्ष, निडर, अपराध विरोधी व आजाद विचारधारा वाला प्रकाशक, मुद्रक, संपादक, स्वतंत्र पत्रकार, कवि व लेखक रमेश कुमार जैन उर्फ़ "सिरफिरा" फ़ोन:9868262751, 9910350461 email: sirfiraa@gmail.com,