तुम अपने किरदार को इतना बुलंद करो कि दूसरे मज़हब के लोग देख कर कहें कि अगर उम्मत ऐसी होती है,तो नबी कैसे होंगे?
गगन बेच देंगे,पवन बेच देंगे,चमन बेच देंगे,सुमन बेच देंगे.कलम के सच्चे सिपाही अगर सो गए तो वतन के मसीहा वतन बेच देंगे.
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16 सितंबर 2010
कुछ बात तो होगी
कुछ बात तो होगी वरना ऐसा तो नहीं मुमकिन के वोह यूँ ही खफा होगा कुछ बात जरुर ऐसी हुई होगी कुछ तुमने जरुर कहा होगा वरना वोह यूँ बेवफा कहां होगा। जुदाई का हर पल हर क्षण मेरे लियें अब कयामत हे सोचता हूँ कुछ उनको भी बिछड़ने का एहसास तो हुआ होगा। अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)
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