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01 अगस्त 2021

कोटा । शहर काग्रेस के उपाध्यक्ष एवं नगर निगम के पूर्व नेता प्रतिपक्ष अनिल सुवालका राज्य सरकार द्वारा राज्य स्तरीय खनन विभाग की D.M.F.C. की गवर्निंग काउंसलिंग कमेटी में ट्रस्टी मनोनीत,

 कोटा । शहर काग्रेस के उपाध्यक्ष एवं नगर निगम के पूर्व नेता प्रतिपक्ष  अनिल सुवालका राज्य सरकार द्वारा राज्य स्तरीय खनन विभाग की D.M.F.C. की गवर्निंग काउंसलिंग कमेटी में ट्रस्टी मनोनीत,  किये जाने पर अनिल सुवालका ने केबिनेट मंत्री शान्ति कुमार धारीवाल साहब का आभार व्यक्त किया है , जबकि , अनिल  सुवालका को उनके मनोनयन के बाद , सभी समाजसेवी , व्यापारी , कांग्रेस जन , खनन व्यवसायी  ,बधाइयां दे रहे हैं ,,  D.M.F.C. की गवर्निंग काउंसलिंग कमेटी खान  अधिनियम  1957 की  धारा 9 ख , धारा  15 की उपधारा 4 , धारा 15 ख के विधिक कल्याणकारी प्रावधान के तहत , प्रत्येक राज्यों को ,खनन व्यवसायियों की रॉयलिटी से लिए गए कल्याण कोष के फंड , की देखरेख , खर्च , खनन प्रभावित क्षेत्रों में , विकास कार्यों के लिए व्यवस्थित रूप से करवाने के लिए गठित किये जाने का प्रावधान है , राजस्थान सरकार ने भी इस मामले में विस्तृत कार्यवाही के लिए वर्ष 2016 में नियम बनाये , जिसका संशोधन वर्ष 2019 किया गया , उक्त समिति राज्य स्तर , और जिला स्तरीय होती है , जिला स्तरीय समिति में , उस ज़िले के सभी खनन प्रभावित क्षेत्रों में , खनन व्यवसायियो से रॉयल्टी  वसूली की हिस्सा राशि से , जो भी फंड एकत्रित हुआ है , उसके खर्च के निर्धारण के , लिए , उक्त समिति का अंतिम निर्णय होता है ,जिला स्तरीय समिति की अध्यक्षता जिला प्रमुख , करते है , जबकि उपाध्यक्ष जिला कलेक्टर रहते है , उक्त समिति के सचिव खनन अभियंता होते है , समिति में उक्त ज़िले के सभी विधायक न्यासी होते है ,जबकि वन पर्यावरण के लिए ,वन अधिकारी , अन्य अधिकारीयों के साथ , सरकार द्वारा नियुक्त न्यासी भी इसके सक्रिय सदस्य होते है,  जिनकी बैठक में , सभी लोग सर्वसम्मति या फिर वोटिंग के माध्यम से , खनन प्रभावित क्षेत्रों में , किस गांव में , किस गाँव के पुनर्वास , शिक्षा , चिकित्सा  , वृद्ध , महिला , युवा , बाल कल्याण के लिए क्या व्यवस्थाएं करना है , क्या इंफ़्रा स्ट्रक्चर बनाना है , खनन क्षेत्र में पर्यावरण व्यवस्था कैसे संतुलित करना है , यहां पानी , बिजली सहित सभी ज़रूरी व्यवस्थाएं कैसे हो , श्रमिकों सहित ऐसे क्षेत्रों में , सुरक्षात्मक उपाय किस तरह के निर्धारित हों , इसके लिए कहाँ किस योजना पर ,कितना रुपया खर्च होगा , इस मामले में समिति की बैठक में , सर्वेक्षण के बाद , वार्षिक बजट स्वीकृत होता है  और फिर उक्त फंड को , स्वीकृत बजट के निर्देशानुसार खर्च किया जाता है , जो  लाखों करोडो का बजट होता है , समिति को खनन व्यवसायियों के लिए अधिग्रहित ग्रामीणों की भूमि के क्षतिपूर्ति मुआवज़े के निर्धारण सहित , उनके पुनर्वास की कल्याणकारी योजनाओं का निर्धारण भी करना होता होता है , अनिल सुवालका कोटा में खनन क्षेत्र , जैसे , सुकेत , रामगंजमंडी , ढाबादेह , सहित कोटा ज़िले के सभी खनन क्षेत्रों में होने वाले , इस तरह के कार्यों की योजनाओं की क्रियान्विति के साथ , मॉनिटरिंग में भी शामिल रहेंगे , जबकि उक्त समिति की बैठक सामान्य अनुक्रम में तो जब चाहे तब पूर्व सुचना के अनुसार , निर्धारित बिंदुओं पर बुलाई जा सकती है , लेकिन न्यूनतम , तीन माह में तो एक बैठक बुलाना आवश्यक है ,, अनिल सुवालका के मनोनयन  पर   अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य पंकज मेहता , प्रदेश कोंग्रेस कमेटी सदस्य  एडवोकेट अख्तर खान अकेला , पार्षद सलीना शेरी , ललित सरदार ,, अभिमन्यु  सुराणा ,  प्रिंस वर्मा , नरेश विजय वर्गीय , सुरश शर्मा , , शाहनवाज़  खान ,  ईश्वर गंभीर , पार्षद साहिब हुसैन ,  तबरेज़  पठान ,,  सुल्तानपुर के पूर्व उप प्रधान रईस खान ,  सहित सभी समाजसेवक ,, व्यवसायी , व्यापारीगण ,  कांग्रेस जन ने उन्हें बधाई दी है , , अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

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