कोटा जिला कांग्रेस के पदाधिकारी विपिन बरथूनिया ,, कांग्रेस छोड़कर जाने वाले , मौक़ापरस्त , दलबदलुओं जैसे लोगों के खिलाफ मज़बूती से कामयाब संघर्ष कर रहे हैं , विपिन बरथूनिया की तर्ज़ पर ऐसे लोगों के खिलाफ पूरे देश के हर ज़िले में संघर्ष होना ही चाहिए , ताकि कांग्रेस धीरे धीरे , धीरे , ऐसे दलबदलुओं , गद्दार ,, मुखबीर , भाजपा के हिडन सिपाहियों से मुक्त होकर , फिर से शासन में स्थापित हो सके , ,
भाग भाजपा भाग टीम के विपिन बरथूनिया और सभी साथियों को इस जंगजू कोंग्रेस के हित में शुरू किए अभियान, आंदोलन को सेल्यूट , विपिन बरथुनिया ओर इनके साथियों जैसे लोग कोटा कांग्रेस की खरपतवार ,, ज़हरीली घांस को फिर से उगने से रोकने की कोशिशों में लगे हैं , इनकी कोशिश है , कांग्रेस के दुश्मन मौक़ापरस्त , दलबदलू लोग जो चुनाव के वक़्त कांग्रेस छोड़ जाते है , अपने फायदे उठाते हैं , फिर फायदे उठाने के बाद , लोट कर बुद्धू घर को आये ,, वाली कहावत को चरितार्थ कर फिर से कांग्रेस को दीमक की तरह चाटने या फिर कांग्रेस की भाजपा और अन्य दलों के लिए मुखबीरी करने लोट आते हैं , ऐसे लोग कांग्रेस में फिर से नहीं आएं , और विधि विरुद्ध , कांग्रेस के संविधान की भावना , विधि नियमों ,, छानबीन समिति , सदस्य्ता आवेदन वगेरा वगेरा के प्रावधानों के विपरीत तो बिलकुल ही नहीं आये , , यूँ तो कांग्रेस का देश भर में यही हाल है , कांग्रेस में आंतरिक स्तर पर आज भी ,, भाजपा के मुखबीर , हिडन वर्कर हैं, जो है तो दिखावे के तोर पर कांग्रेस में , लेकिन काम भाजपा का ही कर रहे हैं , ओर भाजपा में जाने के लिए, भाजपा नेताओं के इशारे के इन्तिज़ार में है, उनका तय है के वोह कब , किस समय कोंग्रेस के खिलाफ क्या आरोप लगाकर भाजपा में जाएंगे, उक्त चुनाव के दौरान देश ने , राजस्थान ने ,, कोटा के लोगों ने, ऐसे हिडन भाजपा कार्यर्कताओ को देखा है ,जो , कांग्रेस की रसमलाई खूब खाते रहे , और फिर जब कांग्रेस का बुरा वक़्त रहा , तो एक व्यापारी , एक सौदेबाज़ की तरह ,, कांग्रेस को आरोपित कर , खुले मन से कांग्रेस को गालियां बक कर ,, कांग्रेस की नीतियों को कोसकर , कभी वर्षों पुराने राम मंदिर की बहानेबाज़ी कर , भाजपा में चले गए , वैसे तो जो लोग कांग्रेस में ताज हुआ करते थे , आज भी वोह भाजपा में तलवे चाटुकार से ज़्यादा कुछ भी नहीं है , खुद गृहमंत्री अमितशाह जो भाजपा के नीतिकार है , भाजपा में सर्वोपरि हैं , उन्होंने खुद , राजस्थान चुनाव प्रचार के दौरान खुले रूप से आगाह किया था , के जो लोग कांग्रेस से भाजपा में आये हैं , उन्हें कोई पद नहीं दिया ,जाएगा और अभी ताज़ा उदाहरण , राजस्थान में , सरकारी स्तर पर पैरवी के लिए वकीलों की जो सूचि निकाली गई , उसमे कांग्रेस में रहकर जो भाजपा का हिडन वर्क करते थे , या फिर चुनावी फायदे को देखते हुए कांग्रेस छोड़ भाजपा में चले गए , या कांग्रेस में भी रहे और भाजपा के प्रचारक रहे ,, उनकी जब नियुक्तियां हुई , तो भाजपा का अधिवक्ता संघ आग बबूला हो गया और भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष को ज्ञापन भी दिया , ,कई नियुक्त किये गए लोगों को, भाजपा सरकार को , इस दबाव में हटाना भी पढ़ा , खेर दलबदलुओं ,, मौकापरस्तों की एक सतत प्रक्रिया है , में मानेसर बगावत की बात नहीं कर रहा , हाल ही में हरियाणा चुनाव हार को लेकर जो ,ठीकरा कुछ लोग , मानेसर बगावत के वक़्त जो मेजबानी , राजस्थान पुलिस के अभियान के खिलाफ हरियाणा सरकार का सुरक्षात्मक क़र्ज़ था , उसे उतारकर कांग्रेस को जीती हुई बाज़ी हराने के जो क़र्ज़ उतारने के आरोप हैं , उन्हें में सिरे से ख़ारिज करता हूँ , मानेसर में लोग बागी हुए थे , उन्होंने तरीक़ा चाहे गलत निकाला हो , लेकिन वोह कांग्रेस छोड़कर नहीं गए थे , अभी भी वोह कांग्रेस के वफादार हैं , लेकिन जो लोग खुलकर कांग्रेस की रसमलाई खाकर , भाजपा के तलवे चाटने के लिए गए , फिर उल्लू सीधा होने पर , या वहां तलवों के ऊपर नहीं पहुंच पाने से नाराज़ होकर वोह फिर कांग्रेस में आने के असफल प्रयासों में हैं , वोह भी विधि विरुद्ध तमाशा करके , ना उनकी कांग्रेस कार्यालय में रसीद , ना जिला अध्यक्ष के हस्ताक्षर , ना अनुशासन समिति में उनकी सुनवाई , ना सदस्य्ता आवेदन , ना कांग्रेस को आरोपित कर छोड़कर जाने के मामले में प्रभारी , अनुशासन समिति की कोई ,रिपोर्ट ,, ना प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष या प्रदेश कांग्रेस कमेटी की साधारण सभा की कोई अनुमति ,फिर दुबारा कांग्रेस में आने पर छानबीन समिति के समक्ष आवेदन की समीक्षा जांच पड़ताल कुछ भी तो नहीं , ऐसे में कोटा के जांबाज़ जंगजू सिपाही , विपिन बरथूनिया जो , भाग भाजपा भाग ,, वाट्स ऐप ग्रुप के एडमिन है , उन्होंने व्यक्ति से बढ़ा कांग्रेस को ,, कांग्रेस के प्रति वफादारी को , कांग्रेस के लिखित संविधान को , अहमियत देते हुए , बिना किसी दुराग्रह के ,, ऐसे मौक़ापरस्त लोगों को कांग्रेस में शामिल होने की भ्रांतियों के खिलाफ जंग का ऐलान कर दिया है , शायद कोटा में पहली बार पार्टी में ,रहकर , पार्टी को , बचाने का यह आंदोलन ,, कोटा जिला कांग्रेस कार्यालय में ही बैठक आयोजित कर शुरू किया गया है , में सेल्यूट करता हूँ , कांग्रेस के सभी ऐसे कार्यर्कताओं को , जो इस दल बदल, मौक़ापरस्ती का खुलकर विरोध करने में शामिल हुए हैं , विपिन बरथूनिया कोटा में , आम जन समस्याओं को लेकर कई सालों से सक्रिय है , वोह कांग्रेस के सक्रिय सदस्य , वफादार पदाधिकारी है , शासन कांग्रेस का रहा हो , तब भी उन्होने , आम जन सुविधाओं , जन समस्याओं को लेकर , अपने साथियों के साथ विरोध प्रदर्शन किये , अव्यवस्थाओं को सुधारने के लिए आन्दोलन कर व्वयस्थाये सुधरवाई , कांग्रेस को सक्रिय करने , सदस्य्ता अभियान को मज़बूती देने , कांग्रेस के हर चुनाव में प्रत्याक्षी को , जीत दिलाने के लिए बिना किसी प्रतिफल के सक्रिय रहे , विपिन बरथूनिया को इस सक्रियता ,, निष्पक्षता , कांग्रेस के झंडे , कांग्रेस की रीती नीतियों के प्रति वफादारी का दण्ड भी भुगतना पढ़ा है , कई बार सत्ता पक्ष में सक्रिय होते हुए भी , राजनतिक नियुक्तियों में इन्हे इनके किये गए कार्यों के अधिकारों से वंचित भी होना पढ़ा , लेकिन यह कांग्रेस के सच्चे , समर्पित सिपाही होने के नाते , अपनी टीम के साथ , हमेशा कांग्रेस ज़िंदाबाद और खुलकर भाजपा भाग भाजपा भाग , के साथ भाजपा की रीती नीतियों का विरोध करते रहे , ,हाल ही में विपिन बरथूनिया ने , दलबदलुओं , मौक़ापरस्त लोगों के मुखालिफ जो आन्दोलन छेड़ा है , और इस आंदोलन में एक बढ़ी टीम , नए साथी ,नए कोंग्रेसजनों ने शामिल होकर , कांग्रेस विरोधियों ,, चाटुकार नारेबाजों के खिलाफ जो अभियान छेड़ा है ,वोह चाहे कोटा जिला स्तरीय ही मामला हो , लेकिन इस आवाज़ को उन्होंने , प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रदेश अध्यक्ष तक भी पहुंचाई है , खरी पक्की की है , के वोह ऐसे लोगों को कांग्रेस में हरगिज़, हरगिज़ नहीं लेंगे , ऐसे में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के आश्वासन के बाद , दल बदलू लोगों की मौक़ापरस्ती , चालबाज़ियों के खिलाफ , विपिन बरथूनिया , उनकी टीम का संघर्ष सफल ही कहा ,जाएगा लेकिन देखते हैं , आगे आगे क्या होता है , एक ब्रेक के बाद , ,, ,अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान 9829086339
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)