ऐ अल्लाह ,, रमज़ानुल मुबारक में , खुसूसी इबादत , सब्र शुक्र , ज़कात ,, फ़ित्रे , के माह के बाद ,, ईद यानी ख़ुशी का दिन , आ ही गया , लेकिन ,, कैसे हम ईद मुबारक कह दें ,, अल्लाह तू ही बता , किस मुंह से हम , एक दूसरे को ईद मुबारक कहे , अल्लाह , हमें नई सुबह , नई ख़ुशी , सह्तयाबी , खुशहाली , बाज़ारों की रौनक , एक दूसरे के साथ , प्यार , मोहब्बत , तरक़्क़ी के जज़्बे के साथ , खुशियां दे , हमे फिर से ईद को ईद की तरह से मनाने के लायक बना , हमारे हालात सुधार ,गुनाहों को माफ कर , अस्पतालों में , घरों में जो भी मरीज़ है ,उन्हें सभी को , शिफा अता फरमा , जो लोग , अस्पताल , सरकारों की अव्यवस्था , लापरवाही , बदइंतिज़ामी की वजह से , मोत का शिकार हुए है , अल्लाह उन्हें तू जन्नतुल फिरदोस में आला मुक़ाम अता फरमा ,,, उनके घर वालों को सब्र दे ,उनके घर वालों की हर परेशानी दूर कर , उन्हें हर तरह की सहूलियतें , रोज़गार फ़राहम करवा ,, ऐ अल्लाह , जो लोग इस माहौल में शैतानी हरकतों की तरह , नफरत फैला रहे है , कफ़न चोरी कर रहे है , लूट खसोट , ब्लेक मार्केटिंग कर रहे है , जो लोग अस्पतालों को , कमाई का , जबरिया लूट का ज़रिया बना रहे है , जो ज़िम्मेदार अफसर , ज़िम्मेदार मंत्री , ज़िम्मेदार सरकारें , हुकूमत के शीर्ष लोग , मूकदर्शक बने है , लापरवाह है ,, उन्हें तू इस माहौल में , आम लोगों की मुसीबतों में , मददगार बनने का हौसला दे , उन्हें ऐसी अक़्ल दे , के वोह उद्योपतियों , निजी अस्पतालों के व्यापरियों के चंगुल से आज़ाद होकर , आम लोगों की मदद में लगे , ऐ अल्लाह , ईद की ऐसी सुबह कर दे , के सभी खुशियों के साथ ईद , मनाएं , एक दूसरे से फिर से गले मिले , प्यार मोहब्बत , ,एक दुसरे के साथ बांटे ऐ अल्लाह तू हमारी गलतियों को माफ़ कर दे ,, खुशियों की फिर से नई सुबह , खुशियों की फिर से नई ईद , ईद की तरह कर दे ,, आमीन , सुम्मा आमीन ,, अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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