कभी बिजली नहीं आती तो पत्रकार को बुलाओ ,
पानी नहीं आता तो पत्रकार को बुलाओ ,
नाली नाले भरे हुए है तो
पत्रकार को बुलाओ ,
कोई रिश्वत मांगता है तो पत्रकार को बुलाओ ,
नेता जी को अगर जनता में अपनी पहचान बनाकर वोट चहिये हों तो कहते है पत्रकार को बुलाओ
हर गम हर ख़ुशी की खबर पर
पत्रकार को 24 घण्टे में कभी भी सर्दी , गर्मी, बरसात बुलाया जाता है ।
तो क्यों जब किसी पत्रकार के साथ बुरा होता है
तो उसको बुलाने वाले लोग ,या नेता , उसकी मदद को आगे नहीं आते.
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)