कतरा - कतरा लम्हे
समेट लाई हूँ ...
तेरे हिस्से का दर्द भी
मैं , सह आई हूँ ...
आ करीब मिल - बांटकर
जी लें जिंदगी ...
बची सांसों का
हिसाब भी कर आई हूँ
समेट लाई हूँ ...
तेरे हिस्से का दर्द भी
मैं , सह आई हूँ ...
आ करीब मिल - बांटकर
जी लें जिंदगी ...
बची सांसों का
हिसाब भी कर आई हूँ
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