नई दिल्ली। दिल्लीवासियों को रोजाना 666 लीटर फ्री पानी और 400 यूनिट तक बिजली के दाम आधे करने के फैसले के बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को नए साल के पहले दिन दो अहम फैसले किए। पहले फैसले में दिल्ली सरकार ने आदेश दिया है कि तीनों बिजली वितरण कंपनियों का ऑडिट कराया जाएगा, जबकि दूसरी फैसले में 48 घंटे में 45 नए रैन बसेरे बनाने का आदेश दिया हैं। इसके अलावा जहां भी लोग सो रहे हैं, वहां पर उन्हें पोटा कैबिन बनाकर दिए जाएंगे।
दूसरी ओर बिजली कंपनियों की ओर से ऑडिट का विरोध जाने पर अरविंद केजरीवाल ने पत्रकारों को बताया कि दिल्ली हाईकोर्ट ने कभी भी बिजली वितरण कंपनियों के ऑडिट करने पर कोई स्टे नहीं लगाया था। पिछली सरकार ने चार साल में कभी भी बिजली कंपनियों के ऑडिट का आदेश नहीं दिया, लेकिन ‘आप’ की सरकार ने चार दिनों में बिजली कंपनियों के ऑडिट कराने का आदेश दे दिया है। उन्होंने बताया कि उपराज्यपाल नजीब जंग ने दिल्ली सरकार के बिजली कंपनियों के ऑडिट कराने के फैसले को मंजूरी दे दी है।
केजरीवाल ने बताया कि वह मंगलवार को सीएजी से मिले थे और उन से जल्द से जल्द बिजली कंपनियों का ऑडिट करने को कहा था। सीएजी ने उन्हें कहा था कि बिजली कंपनियां जितना उनका सहयोग करेंगी उतना जल्दी ऑडिट का काम पूरा होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिजली के मीटर तेज चलने की शिकायतें भी मिल रही हैं और पावर डिपार्टमेंट इस मसले पर एजेंसियों से संपर्क कर रही है जो बिजली मीटरों की टेस्टिंग करेंगी।
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