जयपुर.प्रदेश में भूमि एवं भवन निष्पादन के लिए नए नियम
बनेंगे। नगरीय विकास, आवासन विभाग के एसीएस जी.एस. संधु की अध्यक्षता में
शनिवार को बैठक में यह फैसला हुआ। इसमें परिपत्र व आदेश तथा वर्तमान की
आवश्यकताओं के अनुरूप अधिनियम के प्रावधानों के अनुसार नियम बनाने के संबंध
में विचार-विमर्श किया गया।
संधु ने बताया कि निकाय क्षेत्रों में भूमि की आरक्षित दर निर्धारण,
आवासीय योजनाओं के निर्माण, नई कॉलोनियों में ईडब्ल्यूएस और एलआईजी समूह के
लिए आवास आरक्षण, राज्य एवं केंद्र सरकार के कर्मचारियों, पूर्व सैनिकों,
स्वतंत्रता सेनानी, पत्रकार आदि को आरक्षित दर पर आवास निर्माण के लिए
भूखंड आवंटन, धार्मिक व शैक्षणिक और जनोपयोगी कामों के लिए भूमि आवंटन आदि
नियमों में संशोधन करने पर विचार किया जा रहा है। इससे स्थानीय निकायों के
मामलों का शीघ्र निस्तारण हो सकेगा।
1974 में राजस्थान नगरपालिका (शहरी भूमि निष्पादन) नियम बनाए गए थे।
वर्तमान राजस्थान नगर पालिका अधिनियम-2009 के प्रावधानों के अनुसार काम
किया जा रहा है। वर्तमान विधि प्रावधानों की आवश्यकताओं को दृष्टिगत करते
हुए नवीन राजस्थान नगरपालिका भूमि एवं भवन निष्पादन नियम का प्रारूप तैयार
किया जा रहा है। बैठक में मुख्य नगर नियोजक एन.के. खरे, यूडीएच के संयुक्त
सचिव एन.एल. मीणा, उपसचिव प्रकाश चंद शर्मा, स्थानीय निकाय के निदेशक
ताराचंद मीणा और अतिरिक्त निदेशक मनीष गोयल, विधि निदेशक अशोक सिंह, वरिष्ठ
नगर नियोजक प्रदीप कपूर व आर.के. विजयवर्गीय और विधि विशेषज्ञ मौजूद थे।
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