पटना. दिल्ली में पांच साल की मासूम गुडि़या (काल्पनिक नाम) से दरिंदगी ( करने के आरोपी मनोज के खिलाफ पूरे देश में उबाल आया हुआ है ।
बिहार में लोग उसे बिहार पुलिस के हवाले करने और सरेआम फांसी देने की मांग
कर रहे हैं। उसके गांव वालों ने भी उसके परिवार का बायकॉट कर दिया है और
हुक्का पानी बंद कर दिया है।
मनोज एक गारमेंट फैक्ट्री में हेल्पर है। वह दर्जी का काम भी जानता
है। दिहाड़ी मजदूरी कर पेट पालने वाला मनोज मूल रूप से मुजफ्फरपुर (बिहार)
जिले के औरांई थाना क्षेत्र के भरथुआ गांव का रहने वाला है। परिवार के
ज्यादातर लोग गांव से बाहर ही रहते हैं। गांव में उसके दादा रहते हैं।
मनोज की दरिंदगी के बारे में सुन कर गांव वालों ने उसके परिवार का
बहिष्कार कर दिया है।
मनोज का पिता का बिंदेश्वरी साह दिल्ली के सीलमपुर में जूस की दुकान
चलाता है। मनोज ने दो साल पहले चिकनौटा गांव की लड़की से लव मैरिज की थी।
कुछ साल पहले वह पेट पालने के लिए दिल्ली आ गया था। औरांई थाने में मनोज
के खिलाफ किसी तरह का कोई आपराधिक मामला दर्ज नहीं है। लेकिन बताया जाता है
कि 22 साल का मनोज गांधीनगर में जोर जबर्दस्ती करने के एक मामले में पहले
भी आरोपी रहा है। पुलिस ने
बताया कि तब घरवालों ने मनोज के खिलाफ केस दर्ज कराया था जिसके बाद वो
गिरफ्तार भी हुआ था। इस झगड़े के बाद घरवालों ने उससे नाता तोड़ लिया था।
मनोज उसी बिल्डिंग में एक कमरा किराये पर लेकर रहता था जहां पीड़ित बच्ची का
परिवार रहता था। गांधीनगर की इस तीन मंजिला इमारत में मनोज ग्राउंड फ्लोर
पर रहता था। बच्ची से कुकर्म के बाद वह ससुराल भाग गया। वहीं से उसकी गिरफ्तारी हुई।
दसवीं तक की भी पढ़ाई पूरी नहीं कर सकने वाला मनोज शुरू में गांव में
ऐसे ही आवारागर्दी किया करता था। इसी क्रम में चिकनौटा गांव के महेंद्र साह
की बेटी से उसकी आंखें लड़ीं और उसने उसे बीवी भी बना लिया। बताया जाता है
कि परिवार के लोग उसके फैसले से खुश नहीं थे। अब उसने पूरे देश को अपना
दुश्मन बना लिया है और बिहार को शर्मसार कर दिया है। इससे पहले अक्षय
ठाकुर ने भी बिहार को शर्मसार किया था। वह 16 दिसंबर को दामिनी के साथ हुई दरिंदगी में शामिल रहा था। दामिनी के साथ चलती बस में हुई गैंगरेप की वारदात के बाद भी देश भर में प्रदर्शन हुए थे।
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