पटना. बिहार में नीतीश कुमार के ‘सुशासन’ का एक और सच सामने आ गया है। बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री ने हड़ताल की धमकी देने वाले जूनियर डॉक्टरों के हाथ काट लेने की चेतावनी दी है। अश्विनी कुमार चौबे ने शनिवार को जन स्वास्थ्य चेतना यात्रा की शुरुआत करते हुए शनिवार को इस तरह का ‘तालिबानी’ फरमान सुनाया।
डॉक्टरों को उनकी ड्यूटी याद दिलाते हुए चौबे ने कहा कि अस्पताल का काम छोड़कर प्राइवेट प्रैक्टिस करने वालों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आए दिन जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल की धमकियों पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने यहां तक कह डाला कि धमकी देनेवालों के हाथ भी काट दिए जाते हैं।
चौबे तीन महीने की जन स्वास्थ्य चेतना यात्रा पर शनिवार को निकल पड़े। गांधी मैदान में आयोजित समारोह में विधान परिषद सभापति ताराकांत झा ने झंडी दिखाकर उन्हें भोजपुर के लिए विदा किया। यात्रा का समापन 30 अप्रैल को भागलपुर में होगा।
इस बीच चौबे सभी प्रमंडलों में दो-दो दिन रुकेंगे। सरकारी अस्पतालों का औचक निरीक्षण करेंगे। अपने संबोधन में अश्विनी चौबे ने कहा कि यात्रा के दौरान एक करोड़ लोगों का इलाज और स्वास्थ्य परीक्षण होगा। डॉक्टरों को प्रोत्साहित करते हुए चौबे ने कहा कि उन्हें बहुत जल्द डेढ़ गुणा वेतन मिलेगा।
तुम अपने किरदार को इतना बुलंद करो कि दूसरे मज़हब के लोग देख कर कहें कि अगर उम्मत ऐसी होती है,तो नबी कैसे होंगे? गगन बेच देंगे,पवन बेच देंगे,चमन बेच देंगे,सुमन बेच देंगे.कलम के सच्चे सिपाही अगर सो गए तो वतन के मसीहा वतन बेच देंगे.
28 जनवरी 2012
मंत्री ने दी डॉक्टरों के हाथ काटने की चेतावनी
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