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18 दिसंबर 2011

सेंट जोसेफ स्कुल कोटा के संचालक डोक्टर अजय शर्मा का सपना जो सच हुआ ..वोह बच्चों को भी सपने दिखाकर उनके सपने सच करना चाहते हैं

कल कोटा में बेराज के पास टिप्ता में संचालित सेंट जोसेफ स्कूल का वार्षिक समारोह था ॥ ... वार्षिक समारोह में स्कूल के संचालक डोक्टर अजय शर्मा ने बच्चों को एक कहानी सुनाई उन्होंने बताया के एक बच्चा जब स्कूल में पढ़ता था तो उससे उसके टीचर जी ने कहा के तुम अपना प्रोजेक्ट बना कर लाओ ॥ इस पर बच्चा अपना प्रोजेक्ट जिस पर दो सो एकड़ ज़मीं और इस ज़मीं पर पांच मंजिली इमारत पांच सो घोड़े पांच हजार बच्चे थे बनाकर ले गया इस प्रोजेक्ट को देख कर टीचर जी ने एक सपना मानते हुए इसे फेल कर दिया और दुसरा प्रोजेक्ट बना आकर लाने के लियें कहा ..बच्चा फिर कुछ दिनों बाद वही पुराना प्रोजेक्ट लेकर अपने टीचर जी के पास गया टीचर जी ने इस प्रोजेक्ट की कीमत बताकर बच्चे को हतोत्साहित किया लेकिन बच्चा था के टस से मस नहीं होता था कहता था के आप अपना फेल अपने पास रखो में अपना प्रोजेक्ट अपने पास रखता हूँ मेने सपना देखा है में इस प्रोजेक्ट को पूरा कर दिखाऊंगा ..सेंत जोसेफ स्कूल के संचालक डोक्टर अजय शर्मा का कहना था के वोह स्टुडेंट कोई और नहीं में था और यह स्कूल जो दो सो एकड़ में बना है जिसकी पांच मंजिल है इस स्कूल में पांच हजार बच्चे पढ़ रहे है मेरा सपना था जो पूरा हुआ ..उनका कहना था के बच्चे जो सपना देखते हैं अगर उनका उत्साह वर्धन किया जाए तो इंशा अल्लाह वोह सपना हकीक़त में जरुर बदलता है ॥ डोक्टर अजय शर्मा ने आगे बताया के इसी स्कूल में एक दिन प्रतियोगिता के दोरान वही टीचर जी अपने स्कूल के बच्चों को लेकर आये और जब उन्हें डोक्टर अजय ने पहचाना तो इन टीचर जी का अभिवादन कर उन्हें बताया गया के सर में वही बच्चा हूँ जिसका प्रोजेक्ट जिसका सपना आपने दो बार फेल किया था और आज वही प्रोजेक्ट में धरातल पर पूरा कर दिखाया है बस यह सुनते ही टीचर जी ने डोक्टर अजय शर्मा को गले लगा लिया और आँखों में आंसू भर कर बोले के सही कहा में गलत था बच्चों को होसला देना अचहिये ताके वोह उनका कोई भी सपना कोई भी प्रोजेक्ट पूरा कर सकेंगे ..डोक्टर अजय शर्मा ने सभी बच्चों से उनके भविष्य के लियें एक सुखद और सम्रद्ध सपना देखने की पेशकश की और वायदा किया के वोह अपना सपना प्रोजेक्ट बनाये उनका प्रोजेक्ट फेल नहीं होगा बलके उसे केसे धरातल पर पास किया जाए जो वोह सफल हो सके यह कहते कहते उनकी आँखें चल चला आयीं और उनकी रशियन मेम मरीना शर्मा जो इस प्रोजेक्ट की रूह आत्मा से जुड़कर इस सपने को साकार करने की प्रेरणा बनीं वोह भी उनके पास आकर खड़ी हो गयी और सभी बच्चे इस वार्षिक समारोह में अपने अपने प्रोजेक्ट में खो से गये लेकिन उनका होसला कमजोर था जिसे और ऊँची उड़ान की जरूरत है धन्य हो डोक्टर अजय शर्मा जी सेंट जोसेफाईट .......... जिंदाबाद जिंदाबाद .... अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

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