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29 अगस्त 2011

नालायक' कहे जाने पर गुस्‍साए सांसद, पर अनुपम खेर बोले- ओम पुरी ने नहीं कहा कुछ गलत


नई दिल्‍ली. रामलीला मैदान स्थित अन्‍ना हजारे के मंच से नेताओं पर की गई कथित 'आपत्तिजनक' टिप्‍पणी के मामले में अभिनेता ओम पुरी और हजारे की सहयोगी किरण बेदी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। इनके खिलाफ संसद के दोनों सदनों के सदस्‍यों ने विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है। लोकसभा अध्‍यक्ष मीरा कुमार ने सोमवार को नोटिस मिलने की पुष्टि की।

ओम पुरी ने तो अपनी टिप्‍पणी के लिए माफी मांग ली है, लेकिन किरण बेदी ने नेताओं पर की गई अपनी टिप्‍पणी को जायज ठहराते हुए कहा कि उनकी इस टिप्‍पणी से ही जनलोकपाल का मसला सुलझा है।

ओमपुरी ने एक समाचार चैनल से कहा कि नेताओं को ‘नालायक’ और ‘गंवार’ कहने पर उन्‍हें अफसोस है। उन्‍हें ऐसे शब्‍दों का इस्‍तेमाल नहीं करना चाहिए था। ओमपुरी ने इस बात से इनकार किया कि उन्‍होंने रामलीला मैदान के मंच से जब ऐसी टिप्‍पणी की थी उस वक्‍त उन्‍होंने शराब पी रखी थी। ओमपुरी ने कहा, ‘मैं सांसदों से मिलकर अपनी बात रखना पंसद करुंगा। यदि वो गुस्‍से में हैं तो मैं उनसे माफी मांगूंगा। अन्‍ना की सेहत हम सभी के लिए बेहद चिंता की बात थी। इस वजह से मैं भावना में बह गया और मेरे मुंह से ऐसी बातें निकल गईं।’

माफी मांग लेने के बावजूद ओम पुरी के खिलाफ कई सांसदों ने सोमवार को विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया। लेकिन फिल्‍म अभिनेता अनुपम खेर खुले आम पुरी के समर्थन में आ गए हैं। उन्‍होंने सोशल साइट ट्वि‍टर पर लिखा, 'मैं ओमपुरी के साथ हूं। उन्‍होंने सार्वजनिक तौर पर उसी बात को कहा है जो करोड़ों घरों में हर रोज कही जाती है।'

उधर, बेदी ने एक समाचार चैनल से कहा कि उनकी टिप्‍पणी से उन्‍हें काफी फायदा हुआ। उनके रवैये के चलते बीजेपी के नेता लालकृष्ण आडवाणी ने उन्हें फोन किया और जिसके बाद मामला सुलझ गया। किरण बेदी ने कहा कि इस तरह के कमेंट से पूरा खेल बदल गया। गौरतलब है कि रामलीला मैदान में बेदी ने बीते शुक्रवार को एक कपड़े से घूंघट बनाकर नेताओं को दोमुंहा कहा था और कहा था कि वे हमेशा मुखौटा ओढ़े रहते हैं। बेदी ने कहा था कि नेता अलग-अलग मौकों पर मुखौटे बदल कर अलग-अलग बात बोलते हैं। उन्होंने कहा था कि एक मुलाकात में नेताओं ने कुछ कहा, जबकि दूसरी मुलाकात में कुछ और कहा।

किरण बेदी ने कहा कि रामलीला मैदान में आए लोगों ने वहां आए कुछ सांसदों के विरोध में आवाज उठाई। इसका असर आडवाणी जी पर पड़ा। बेदी ने कहा, 'शाम को आडवाणी जी ने मुझे फोन किया। मैंने कहा कि हम तो अकेले छोड़ दिए गए। आपने अभी तक संसद में हमारी आवाज नहीं उठाई। हमारी आवाज कौन सुनेगा। इसके बाद उन्होंने कहा- बेटी, यह कल संसद में होगा।' उन्होंने कहा, 'अगले दिन आडवाणी जी ने संसद में कहा कि अन्ना हजारे का स्वास्थ्य हमारे लिए सबसे बड़ी चिंता है। शाम को वह प्रधानमंत्री कार्यालय गए।'

किरन बेदी के मुताबिक अगर ऐसा करने से कुछ बदलाव हुआ, तो वैसा करने में कुछ गलत नहीं था। हालांकि उन्होंने कहा कि उन्हें ऐसी शिक्षा नहीं मिली है, लेकिन वह जनता की आवाज थी। किसी को दुखी करने का उनका मकसद नहीं था और वह संसद का सम्मान करती हैं।
नोटिस पर विचार कर रही है संसद

लोकसभा स्‍पीकर मीरा कुमार ने आज कहा कि सांसद पीएम पुनिया, जगदंबिका पाल, रमाशंकर राजभर, लाल चंद कटारिया, मिर्जा असलम बेग, प्रवीण ऐरन और शैलेन्‍द्र कुमार की ओर से भेजे गए नोटिस उन्‍हें मिले हैं। इस मामले पर स्‍पीकर विचार कर रही हैं। स्‍पीकर ने बेदी और पुरी के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस विशेषाधिकार समिति को भेज दिया है।

सपा और बसपा की अगुवाई में संसद सदस्‍यों के बार बार अनुरोध के बाद मीरा कुमार ने यह बात कही। सदन की कार्यवाही शुरू होते ही सपा और बसपा के सदस्‍यों ने सांसदों के खिलाफ टिप्‍पणी को गंभीर मसला बताते हुए इस पर स्‍पीकर की राय मांगने लगे। सपा के शैलेन्द्र कुमार ने कहा कि उन्‍होंने विशेषाधिकार हनन का नोटिस 27 अगस्‍त को ही दिया था और इस मामले पर तत्‍काल विचार किया जाए। बसपा के सदस्‍य भी सपा सांसदों के समर्थन में आ गए और सदन में हंगामा शुरू कर दिया। लोकसभा अध्‍यक्ष ने कहा उनके पास करीब दजर्न भर नोटिस आए हैं और वह इस मुद्दे पर विचार कर रही हैं।

राज्‍यसभा में सपा सांसद राम गोपाल यादव और निर्दलीय सांसद मोहम्‍मद अदीब ने सांसदों पर टिप्‍पणी करने पर बेदी और पुरी के खिलाफ विशेषाधिकार प्रस्‍ताव पेश किया। राज्‍यसभा में आज शून्‍यकाल के दौरान यह मामला उठाते हुए यादव ने कहा कि फिल्‍म अभिनेता ने बीते 26 अगस्‍त को अन्‍ना हजारे के मंच से सांसदों को ‘चोर’ और ‘नालायक’ कहा है। उन्‍होंने कहा कि अभिनेता की ओर से की गई इस तरह की टिप्‍पणी सांसदों के विशेषाधिकार का हनन है। सदन के उपसभापति के रहमान खान ने सदस्‍यों को आश्‍वासन दिया कि सांसदों की ओर से दिए गए नोटिस सभापति के विचारार्थ हैं। सभी पार्टियों के सदस्‍यों ने मेजें थपथपाईं और यादव ने इस बीच नोटिस को विशेषाधिकार समिति को रिफर किए जाने का अनुरोध किया।

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