जी हाँ दोस्तों राजस्थान प्रशासन में एक सजग सतर्क अधिकारी है बी एल कोठारी यह बात में नहीं कहता जो भी उनके सम्पर्क में आता है जिस भी गरीब की वोह प्रशासनिक मदद कर पीड़ा का हरण करते हैं उसके मुक्ख से स्वत्त ही यह अलफ़ाज़ निकल पढ़ते हैं ..................दोस्तों बी एल कोठारी राजस्थान प्रशासनिक सेवा के वरिष्ठ अधिकारी है वर्तमान में कोटा अतिरिक्त जिला कलेक्टर कोटा नगर के पद पर तेनात रहते हुए उन्होंने जिस सजगता ,त्वरितता ,तत्परता , सूझ बुझ और कुशल प्रशासनिक क्षमता के साथ कोटा की जो सार सम्भाल की है कोटा के हर संकट के वक्त इन्होने कोटा कलेक्टर और दुसरे वरिष्ठ अधिकारीयों का कंधे से कन्धा मिलकर साथ देते हुए जो जिम्मेदारियां निभाई है उससे कोटा कई बार संकट स्थिति से उबर गया है .................कोटा में अब तक जो भी अधिकारी आये है वोह या तो अपने एयर कन्डीशन चेंबर में बेठे है ..या फिर मंत्री और अधिकारीयों की चमचागिरी चापलूसी में अपना वक्त बर्बाद करते रहे हैं लेकिन जो लोग कोठारी को नजदीक से जानते हैं उनका कहना है के कोठारी के कोटा आगमन के बाद दफ्तर में लगा फाइलों का अम्बार कम हुआ है ..अतिरिक्त जिला कलेक्टर सही सभी कार्यालय हाई टेक हुए है और आधुनिक इंटरनेट युग में इस सुविधा का लाभ सभी अधिकारीयों कर्मचारियों को मिल सका है .जिला पुल में सरकारी वाहनों के दुरूपयोग पर रोक लगी है , इतना ही नहीं दफ्तरों में कर्मचारियों की वक्त पर आने की पाबंदी बढ़ी है ..नोडल अधिकारी के रूप में सभी सियासत से जुड़े लोगों को मान सम्मान मिला है ..खेर यह तो मामूली बात है लेकिन अपने अतिरिक्त नगर दंडनायक कार्यकाल में बी एल कोठारी ने फर्जी पुलिस कार्यवाहियों पर रोक लगा कर जनता को पुलिस उत्पीडन से बचाया है और खुद आगे रहकर मानवाधिकार संरक्षण का कार्य क्या है ..कोटा जेल सुधार में केसे और क्या क्या सुधार हों इसके लियें विस्त्रत रिपोर्ट तयार की है ........जनता का कोई भी आदमी सीधे उनसे काम के लियें सम्पर्क कर सके इसके लियें उन्होंने अंग्रेजी गुलामी मानसिकता के पर्ची सिस्टम को परित्याग कर दिया उनके कार्यालय और चेंबर के दरवाज़े आम आदमी के लियें हमेशा खुले रहे ..कार्यालय वक्त पर आना अपना सभी कामकाज बिना किसी सिफारिश और दाब धोंस के निपटाना कोठारी की आदत है ..जबकि आम जनता बिना किसी सिफारिश के कोई भी वाजिब काम लेकर जब भी इनके पास पहुंची है उसकी समस्या का समाधान बिना किसी हील हुज्जत के तुरंत किया गया है ..इतना ही नहीं अगर कोई गलत काम लेकर भरी सिफारिश लेकर भी पहुंचा है तो फिर भी उसका काम नियमों में नहीं आने के कारण कोठारी जी ने नहीं किया है ..इनके कार्यकाल में सरकारी वाहनों के डीज़ल और मरम्मत खर्च पर अंकुश लगा है और सरकार को लाखों की बचत हुई है ...........वर्तमान में कोठारी जी को कोटा राजस्व अधिकारी के पद पर नियुक्त किया गया है लेकिन आम जनता के लियें आम जनता के अधिकारी बन कर विधि नियमों के तहत खुद को अधिकारी के बदले लोकसेवक मानकर जनता से बिना पर्ची के तुरंत मिलकर उसके कार्य को करने की परम्परा जो बी एल कोठारी ने कायम की है वोह दुसरे अधिकारीयों के लियें भी अनुकरणीय है और ऐसे जनता के लियें जनता के सेवक बनकर कार्य करने वाले कुशल प्रशासनिक अधिकारी को मेरा सलाम ..............अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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