दर्द अपना दे
चाहे पराया
जितना सहा जाए
उतना ही सहना
किसी का दिल
टूट जाए
किसी का
सपना बिखर जाए
ऐसी बात ना कहना
तुम जानते हो
मिलेगा नहीं
मुझ सा
दूजा कोई
कभी तुम्हें
इसलियें
खुदा के लियें
फिर कभी
अलविदा
ना कहना ............................ अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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