अंगदान जागरूकता कार्यशालाओं से मनाया जा रहा अंगदान महोत्सव
2.घर-घर पहुँचे, अंगदान का संदेश,जागरुकता कार्यशाला सम्पन्न
3. एनसीसी की 300 छात्राओं ने जाना,अंगदान का महत्व
स्वास्थ्य
एवं परिवार कल्याण विभाग,नई दिल्ली द्धारा मिले आदेशों के अनुसार, जुलाई
माह में अब प्रतिवर्ष अंगदान जागरूकता के कार्यक्रम आयोजित किए जा सकेंगे ।
इसके साथ ही 3 अगस्त को पूरे भारतवर्ष में राष्ट्रीय अंगदान दिवस मनाया
जाएगा ।
इसी कार्यक्रम के
अंतर्गत कोटा शहर में भी शाइन इंडिया फाउंडेशन और गोयल प्रोटीन्स, कसार के
सहयोग से पूरे जुलाई माह में अंगदान महोत्सव मनाया जा रहा है, इस महोत्सव
के दौरान हाड़ौती संभाग में अंगदान के विषय पर जागरूकता कार्यशालाओं का
आयोजन किया जा रहा है,एवं अंगदान अभियान को जन अभियान बनाने के लिए शहर के
शीर्ष-प्रशासनिक अधिकारियों को भी इस अभियान में साथ लिया जा रहा है ।
कैम्प
कमाडेंट लेफ्टिनेंट कर्नल हेमेंद्र बंसल द्वारा संचालित 7 राज गर्ल्स
बटालियन के 10 दिवसीय संयुक्त वार्षिक प्रशिक्षण एनसीसी शिविर में बीबीजे
चेप्टर के कॉर्डिनेटर डॉ कुलवंत गौड़ ने अंगदान के विषय पर बहुत ही उपयोगी
जानकारी बच्चों को दी ।
इस
प्रशिक्षण शिविर में कोटा ग्रुप के 300 कैडेट्स भाग ले रहे हैं । शिविर
के कैम्प कमांडर लेफ्टिनेंट कर्नल डॉ हेमेंद्र बंसल ने कैडेट्स का मनोबल
बढ़ाते हुये कहा कि,जब आप देश की सेवा की लिये अपना सभी कुछ न्यौछावर करने
के लिये आ ही चुके है,तो यह प्रण कीजिये कि अगर देश के लिये काम नहीं भी आ
सके,तो अपने अंगों से किसी ज़रूरत मंद का जीवन तो बचा ही सकेंगे ।
बीबीजे
चेप्टर कॉर्डिनेटर डॉ कुलवंत गौड़ ने बताया कि, अंगदान उन व्यक्तियों के
लिए जीवनदान है, जो अंग अभाव के कारण मौत के करीब आ चुके हैं,दूर-दराज़ से
आये कई बच्चों ने पहली बार यह जाना कि, किस तरह से एक ब्रेनडेड व्यक्ति,
अंगों के ठीक से काम नहीं करने वाले बीमारी में 8 से अधिक लोगों को जीवन
दान दे सकता है ।
भारतवर्ष
में आज के समय में पचास हजार से ज्यादा लोग ऐसे हैं, जिनको लीवर और दिल की
अत्यंत आवश्यकता है । इसी तरह करीब 1 लाख से ज्यादा लोग ऐसे है,जिनको
किडनी की आवश्यकता है।
डॉ
गौड़ द्वारा नेत्रदान की वर्तमान समय में जरूरत, नैत्रदान की प्रक्रिया व
नैत्रदान से जुड़ी भ्रान्तियों पर विस्तार से जानकारी दी गयी । इसके साथ ही
उनको कॉर्निया की अंधता के कारण व निवारण पर भी विस्तार से समझाया गया ।
इस
अवसर पर एसोसिएट एनसीसी ऑफिसर लेफ्टिनेंट डॉ पारुल सिंह ने कहा कि,देश को
अच्छे नागरिक देने के लिये अच्छी शिक्षा के साथ साथ, समय समय पर इस तरह के
सामाजिक कार्यों की कार्यशाला से बच्चों में न सिर्फ समाज, देश के प्रति
दायित्व बढ़ता है, बल्कि उनमें नई ऊर्जा व आत्मविश्वास का संचार करता है ।
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