*राजस्थान लघु समाचार पत्र संपादक संघ प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल भारती ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के प्रमुख शासन सचिव, आयुक्त जनसंपर्क, एवं मुख्यमंत्री के प्रेस सलाहकार अनुराग वाजपेई को लघु एवं मध्यम समाचार पत्रों के समस्याओं के समाधान के संदर्भ में ज्ञापन दिया , ज्ञापन में बाबूलाल भारती ने बताया कि राज्य के साप्ताहिक पाक्षिक तथा स्थानीय दैनिक समाचार पत्रों को वर्ष में 24 डिस्प्ले विज्ञापन आवश्यक रूप से दिए जाएं! समाचार पत्रों के लिए डीएवीपी के समान वर्ग सेंटीमीटर के दर पर विज्ञापन दर का नियम बनाया जाए , भारती ने बताया कि समाचार पत्रों की विज्ञापन दर को अशोक गहलोत सरकार ने जून 2013 में संशोधन किया था आज 10 वर्षों के बाद विज्ञापन दरों में किसी भी प्रकार की किसी भी सरकार ने वृद्धि नहीं की है, अतः समाचार पत्रों के विज्ञापन दरों में 100% की वृद्धि एवं डीएवीपी के समान विज्ञापन दी जाए , समाचार पत्रों के वर्गीकरण में सरलीकर्ण किया जाए, राज्य सरकार पत्रकारों को नगर पालिका, नगर परिषद ,नगर निगम क्षेत्र में जून 2023 से पहले आवश्यक रूप से भूखंड आवंटन करने का आदेश जारी करें। भारती ने बताया कि जयपुर विकास प्राधिकरण द्वारा नायला पत्रकार आवास योजना में सफल571 पत्रकारो को तत्काल पट्टा जारी करें एवम 180 पत्रकार जिनकी लाटरी नही निकला उनको भूखण्ड आवंटन जारी करने का निर्देश दें , भारती ने कहा कि गहलोत सरकार द्वारा पत्रकार आवास योजना के लिए 2010 आवेदन मांगे गए थे आज 12 साल बाद भी राज्य सरकार द्वारा जयपुर विकास प्राधिकरण द्वारा जयपुर की पत्रकारों को कोई भी आवास योजना जारी नहीं किया गया जो 2010 के बाद के पत्रकारों के साथ अन्याय है राज्य सरकार नए आवेदन पत्र तत्काल जारी कर जून 2023 तक सरकार नए आवेदकों को तत्काल भूखंड देने की योजना बनाकर पत्रकारों को राहत देवे, राज्य सरकार पूर्व की भांति राजस्थान आवासन मंडल की आवास योजना में पत्रकारों का कोटा चालू करें एवं पत्रकारों का जो पूर्व में 2% कोटा था उसके जगह 10% पत्रकारों के लिए आरक्षित करें , राजस्थान सरकार पत्रकारों के दिल्ली ठहरने की व्यवस्था हेतु बीकानेर हाउस एवम राजस्थान स्टेट गेस्ट हाउस की सुविधा प्रदान करें , राजस्थान एवं राजस्थान के बाहर आरटीडीसी के होटलों में पत्रकारों को ठहरने के लिए 50% छूट की सुविधा राज्य सरकार उपलब्ध कराएं ,राजस्थान सरकार की रोडवेज बस से राज्य के बाहर जहां तक जाती है वहां तक पत्रकारों को यात्रा की सुविधा प्रदान की जावे, समाचार पत्रों के संपादकों को प्रेस हेतु रियायती दरों पर ऋण दिया जावे एवं राज्य में पत्रकारों को चिरंजीवी योजना से हटाकर वापस राज्य बीमा विभाग के साथ जोड़कर चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराएं राज्य के सभी सर्किट हाउस में पत्रकारों के ठहरने की सुविधा सरकार उपलब्ध कराएं, भारती ने राज्य के आगामी बजट सत्र में पत्रकारों के हितों में घोषणा कर पत्रकारों को राहत प्रदान करें*
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