प्रतिष्ठा में ,
आदरणीय मुख्यमंत्री महोदय
राजस्थान सरकार
सिविल लाइंस जयपुर राजस्थान
विषय ,कोटा वन विभाग की दो हज़ार करोड़ रूपये से भी अधिक भूमि मामले में वन विभाग की लापरवाही को लेकर भ्रष्टाचार निरोधक विभाग से जांच करवाने ,और पूर्व में गिरफ्तार अभियुक्त फारेस्ट कर्मचारी की जांच में संबंधित पत्रावलियों के गोपनीय पत्र ज़ब्त कर ,लापरवाह ,दोषी दूसरे अधिकारीयों ,कर्मचारियों को अभियुक्त बनाने के क्रम में ,
मान्यवर ,
उपरोक्त विषय में निवेदन है ,, आपकी ,संवेदनशीलता और भरस्टाचार निरोधक पुलिस को भ्रष्ट कर्मचारियों के खिलाफ कार्यवाही की निष्पक्ष खुली छूट देने का ही नतीजा ,है ,,के सरकार खज़ाने को दीमक की तरह चाट रहे ,आम जनता को उत्पीड़ित कर रहे ,अधिकारी कर्मचारियों को आपके निर्देशानुसार ,भ्रष्टाचार निरोधक विभाग के जांबाज़ अधिकारी अपनी जान पर खेलकर ,गिरफ्तार कर रहे है ,भ्रष्टाचार का भंडाफ़ोड़ कर रहे है ,इसके लिए बधाई ,शुक्रिया ,,,
आदरणीय 23 जनवरी 2020 को वन रक्षक एम पी वर्मा को कोटा ,भ्रस्टाचार निरोधक विभाग ने गिरफ्तार किया है ,इस मामले में अभी जांच विचाराधीन ,है ,,वन विभाग में लाडपुरा तहसील क्षेत्र में नाका नया गाँव ,,आंवली ,रोजड़ी ,जगपुरा ,अनंन्तपुरा सहित आसपास के वन क्षेत्र में ,क़रीब दो हज़ार करोड़ रूपये की वन भूमि अतिक्रमणकारियों के हवाले फारेस्ट कर्मचारियों की लापरवाही ,मिलीभगत से ,है पिछले दिनों ,, संभागीय मुख्य वन संरक्षक अनिल कपूर के कार्यकाल में ,ऐसे वन अधिकारी ,कर्मचारी ,अतिक्रमणकारियों की मिलीभगत और ,वन भूमि को अतिक्रमणकारियों से छुड़वाने ,,जिन्हे फ़र्ज़ी तरीके से विक्रयपत्र या पटटे वगेरा जारी करवा दिए गए है ,उनके खिलाफ क़ानूनी कार्यवाही की शुरुआत हुई थी ,,आदरणीय ,,कोटा ऐ सी बी अगर ,,इस मामले में दर्ज मुक़दमे के साथ ही निरंतर जांच में ,,संभागीय मुख्य वन संरक्षक कार्यालय की कुछ गोपनीय पत्रावलियों में जो दो हज़ार करोड़ रूपये से भी अधिक वन भूमि का मामला है , जांच करें तो कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आ सकते ,है बस इसमें विभाग को जो सुचना दी जा रही है ,उसकी पत्रावलियां ज़ब्त करना ,है ,,संबंधित पत्र लिखने वालों से पूंछतांछ करना ,है ,इन्फॉर्मर के नाम गोपनीय रखना ,है उन्हें गवाह नहीं बनाना ,है वर्ना निश्चित तोर पर उनकी जान को खतरा हो सकता है ,,आदरणीय पत्र क्रमांक 117 सी ,117 सी ,119 सी 120 सी 121 सी दिनांक 2 सितम्बर 2018 ,,पत्र क्रमांक 133 सी ,134 सी दिनांक 26 सितम्बर 2018 ,पत्र क्रमांक 138 सी ,139 सी , दिनांक 27 सितम्बर 2018 ,पत्र क्रमांक 140 सी दिनांक 1 अक्टूबर 2018 ,पत्र कर्मनाक 166 सी दिनांक 22 अक्टूबर 2018 , पत्र क्रमांक 167 सी , दिनांक 24 अक्टूबर 2018 , पत्र क्रमांक 173 सी , दिनांक 6 नवम्बर ,पत्र क्रमांक ,174 सी पत्र क्रमांक 175 सी दिनांक 13 नवम्बर 2018 ,,पत्र कर्मनाक 6 सी , 7 सी , 8 सी ,दिनांक 3 जनवरी 2019 ,पत्र क्रमांक 12 सी , 13 सी , 14 सी दिनांक 24 जनवरी 2019 , पत्र क्रमांक 35 सी ,36 सी 37 सी ,दिनांक 13 फरवरी 2019 ,पत्र क्रमांक 51 सी ,52 सी ,53 सी दिनांक 14 मार्च 2019 के यह विभागीय पत्र है ,इनके आलावा भी कई ऐसी रिपोर्ट्स पत्रावलियों में है ,जिन्हे अधिकारीयों ,कर्मचारियों ने जानबूझकर नज़र अंदाज़ किया है ,,,जो लोग कार्यवाही के पक्ष में थे उन्हें प्रताड़ित किया गया है ,,ट्रांसफर किया गया है ,खेर अभी यह सभी पत्र ,,कोटा संभागीय मुख्य वन रक्षक ,की अलग अलग रोजड़ी ,आंवली ,अनंतपुरा ,जगपुरा ,,नानका नयागांव पंचायत समिति लाडपुरा की पत्रावलियों में धूल चाट रहे है ,आदरणीय अगर इन पत्रावलियों ,इन पत्रों ,और अन्य संबंधित पत्रावलियों को कोटा ऐ सी बी ज़ब्त करा ,23 जनवरी 2020 की ट्रेप कार्यवाही और पृथक पृथक जांच कार्यवाही के तहत सूक्ष्म अनुसंधान करे तो निश्चित तोर पर एक बढ़ा सरकारी रैकेट और अतिक्रमणकारियों की सांठ गाँठ का रैकेट ,कोटा ऐंटी करप्शन पुलिस की गिरफ्त में आएगा और कोटा वन क्षेत्र की लगभग दो हज़ार करोड़ रूपये की वन भूमि फिर से सरकार के नियंत्रण क़ब्ज़े में आ सकेगी ,,,,,,,,,,,,, अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान मोबाइल 9829086339
आदरणीय मुख्यमंत्री महोदय
राजस्थान सरकार
सिविल लाइंस जयपुर राजस्थान
विषय ,कोटा वन विभाग की दो हज़ार करोड़ रूपये से भी अधिक भूमि मामले में वन विभाग की लापरवाही को लेकर भ्रष्टाचार निरोधक विभाग से जांच करवाने ,और पूर्व में गिरफ्तार अभियुक्त फारेस्ट कर्मचारी की जांच में संबंधित पत्रावलियों के गोपनीय पत्र ज़ब्त कर ,लापरवाह ,दोषी दूसरे अधिकारीयों ,कर्मचारियों को अभियुक्त बनाने के क्रम में ,
मान्यवर ,
उपरोक्त विषय में निवेदन है ,, आपकी ,संवेदनशीलता और भरस्टाचार निरोधक पुलिस को भ्रष्ट कर्मचारियों के खिलाफ कार्यवाही की निष्पक्ष खुली छूट देने का ही नतीजा ,है ,,के सरकार खज़ाने को दीमक की तरह चाट रहे ,आम जनता को उत्पीड़ित कर रहे ,अधिकारी कर्मचारियों को आपके निर्देशानुसार ,भ्रष्टाचार निरोधक विभाग के जांबाज़ अधिकारी अपनी जान पर खेलकर ,गिरफ्तार कर रहे है ,भ्रष्टाचार का भंडाफ़ोड़ कर रहे है ,इसके लिए बधाई ,शुक्रिया ,,,
आदरणीय 23 जनवरी 2020 को वन रक्षक एम पी वर्मा को कोटा ,भ्रस्टाचार निरोधक विभाग ने गिरफ्तार किया है ,इस मामले में अभी जांच विचाराधीन ,है ,,वन विभाग में लाडपुरा तहसील क्षेत्र में नाका नया गाँव ,,आंवली ,रोजड़ी ,जगपुरा ,अनंन्तपुरा सहित आसपास के वन क्षेत्र में ,क़रीब दो हज़ार करोड़ रूपये की वन भूमि अतिक्रमणकारियों के हवाले फारेस्ट कर्मचारियों की लापरवाही ,मिलीभगत से ,है पिछले दिनों ,, संभागीय मुख्य वन संरक्षक अनिल कपूर के कार्यकाल में ,ऐसे वन अधिकारी ,कर्मचारी ,अतिक्रमणकारियों की मिलीभगत और ,वन भूमि को अतिक्रमणकारियों से छुड़वाने ,,जिन्हे फ़र्ज़ी तरीके से विक्रयपत्र या पटटे वगेरा जारी करवा दिए गए है ,उनके खिलाफ क़ानूनी कार्यवाही की शुरुआत हुई थी ,,आदरणीय ,,कोटा ऐ सी बी अगर ,,इस मामले में दर्ज मुक़दमे के साथ ही निरंतर जांच में ,,संभागीय मुख्य वन संरक्षक कार्यालय की कुछ गोपनीय पत्रावलियों में जो दो हज़ार करोड़ रूपये से भी अधिक वन भूमि का मामला है , जांच करें तो कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आ सकते ,है बस इसमें विभाग को जो सुचना दी जा रही है ,उसकी पत्रावलियां ज़ब्त करना ,है ,,संबंधित पत्र लिखने वालों से पूंछतांछ करना ,है ,इन्फॉर्मर के नाम गोपनीय रखना ,है उन्हें गवाह नहीं बनाना ,है वर्ना निश्चित तोर पर उनकी जान को खतरा हो सकता है ,,आदरणीय पत्र क्रमांक 117 सी ,117 सी ,119 सी 120 सी 121 सी दिनांक 2 सितम्बर 2018 ,,पत्र क्रमांक 133 सी ,134 सी दिनांक 26 सितम्बर 2018 ,पत्र क्रमांक 138 सी ,139 सी , दिनांक 27 सितम्बर 2018 ,पत्र क्रमांक 140 सी दिनांक 1 अक्टूबर 2018 ,पत्र कर्मनाक 166 सी दिनांक 22 अक्टूबर 2018 , पत्र क्रमांक 167 सी , दिनांक 24 अक्टूबर 2018 , पत्र क्रमांक 173 सी , दिनांक 6 नवम्बर ,पत्र क्रमांक ,174 सी पत्र क्रमांक 175 सी दिनांक 13 नवम्बर 2018 ,,पत्र कर्मनाक 6 सी , 7 सी , 8 सी ,दिनांक 3 जनवरी 2019 ,पत्र क्रमांक 12 सी , 13 सी , 14 सी दिनांक 24 जनवरी 2019 , पत्र क्रमांक 35 सी ,36 सी 37 सी ,दिनांक 13 फरवरी 2019 ,पत्र क्रमांक 51 सी ,52 सी ,53 सी दिनांक 14 मार्च 2019 के यह विभागीय पत्र है ,इनके आलावा भी कई ऐसी रिपोर्ट्स पत्रावलियों में है ,जिन्हे अधिकारीयों ,कर्मचारियों ने जानबूझकर नज़र अंदाज़ किया है ,,,जो लोग कार्यवाही के पक्ष में थे उन्हें प्रताड़ित किया गया है ,,ट्रांसफर किया गया है ,खेर अभी यह सभी पत्र ,,कोटा संभागीय मुख्य वन रक्षक ,की अलग अलग रोजड़ी ,आंवली ,अनंतपुरा ,जगपुरा ,,नानका नयागांव पंचायत समिति लाडपुरा की पत्रावलियों में धूल चाट रहे है ,आदरणीय अगर इन पत्रावलियों ,इन पत्रों ,और अन्य संबंधित पत्रावलियों को कोटा ऐ सी बी ज़ब्त करा ,23 जनवरी 2020 की ट्रेप कार्यवाही और पृथक पृथक जांच कार्यवाही के तहत सूक्ष्म अनुसंधान करे तो निश्चित तोर पर एक बढ़ा सरकारी रैकेट और अतिक्रमणकारियों की सांठ गाँठ का रैकेट ,कोटा ऐंटी करप्शन पुलिस की गिरफ्त में आएगा और कोटा वन क्षेत्र की लगभग दो हज़ार करोड़ रूपये की वन भूमि फिर से सरकार के नियंत्रण क़ब्ज़े में आ सकेगी ,,,,,,,,,,,,, अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान मोबाइल 9829086339
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