आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

22 अक्तूबर 2019

भण्डार है शिकायतों का

*सोचा रद्दीवाले से पूछुं कि... शिकायतें''*
*कितने में खरीदेगा.........??*
भण्डार है शिकायतों का...
पुराने रद्दी अखबारों से
कहीं ज्यादा,
दिलों में भरी पड़ी हैं...

*आप भी मेरी माने तो...*
*इन शिकायतों को*
*आज बेच ही दीजिये..!!
आपके *"मन का घर"...!!*

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...