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25 दिसंबर 2014

शरीफ ने भी भिजवाए फूल, बधाई देने आने वालों की ओर बस देख भर लेते हैं अटलजी


नई दिल्‍ली. गुरुवार, 25 दिसंबर को अटल बिहारी वाजपेयी 90 साल के हो गए। उन्‍हें जन्‍मदिन की बधाई देने के लिए पाकिस्‍तानी पीएम नवाज शरीफ ने भी गुलदस्‍ता भिजवाया। भाजपा नेताओं का उनके घर तांता लगा रहा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बनारस जाने के कार्यक्रम में थोड़ा बदलाव करते हुए पहले अटलजी के घर गए। इनके बाद भाजपा अध्‍यक्ष अमित शाह, लालकृष्‍ण आडवाणी, शाहनवाज हुसैन आदि बड़े नेता उनके घर पहुंचे। वहां से निकलने के बाद शाहनवाज ने कहा, 'अभी-अभी अटल जी से मिला। आडवाणी जी ने जब उन्‍हें बताया कि ये शाहनवाज हैं तो उन्‍होंने मेरी ओर देखा। यह मेरे लिए ऐतिहासिक क्षण था।' 
शरीफ ने भी भिजवाए फूल, बधाई देने आने वालों की ओर बस देख भर लेते हैं अटलजी
 
गौरतलब है कि पूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी लकवे के शिकार हैं और हिल-डुल पाने में भी असमर्थ हैं। उनकी याददाश्‍त भी काफी कम रह गई है। उनके करीबी रिश्‍तेदार अनूप मिश्रा बताते हैं कि वह टीवी लगातार देखते हैं। झारखंड और जम्मू कश्मीर चुनावों के नतीजे भी उन्होंने टीवी पर देखे। बोलते नहीं है, लेकिन उनके चेहरे पर आ रहे हाव-भाव ख़बरों को लेकर उनका रिएक्शन बता देता है। परिवार के सदस्य उन्हें अख़बार पढ़कर सुनाते हैं।
 
 
और बच्चों की तरह मचले...
 
एक बार जब सारे परिवार के लोग कमरे में बैठे थे और टीवी पर सदन की कार्यवाही का प्रसारण हो रहा था, तभी किसी ने टीवी बंद कर दी, तो अटल जी बच्चों की तरह गुस्से से मचल गए। बाद में जब दोबारा टीवी चालू किया गया, तो उनके चेहरे पर मुस्कराहट आ गई। दिन में रेस्ट करते हैं। कभी उन्हें फिल्मे देखना बहुत पसंद था। आज भी जब कोई पुरानी फिल्मे टीवी पर आ रही होती हैं, तो वो मौन होकर देखते हैं।
 
अटलजी का यह जन्‍मदिन खास है। केंद्र सरकार इसे सुशासन दिवस के रूप में मना रही है और बुधवार को देश का सर्वोच्‍च नागरिक 'भारत रत्‍न' देने का एलान भी कर चुकी है। संभवत: शुक्रवार को राष्ट्रपति अटलजी और पंडित मदन मोहन मालवीय को भारत रत्न दे सकते हैं। बीएचयू की स्‍थापना करने वाले पं. मालवीय 1946 में 12 नवंबर को दिवंगत हो चुके हैं। प्रधानमंत्री मोदी जब बनारस से लोकसभा चुनाव के लिए नामांकन भर रहे थे, तब उन्‍होंने कहा था कि महामना को भारत रत्‍न मिलना चाहिए। अब उनके निधन के 68 साल बाद ऐसा हो रहा है।
कमजोर सेहत के कारण अटलजी 'भारत रत्‍न' लेने राष्ट्रपति भवन नहीं जा पाएंगे। सरकार उन्हें घर जाकर सम्मानित कर सकती है। 22 साल बाद किसी नेता को भारत रत्न दिया जाएगा।
बुधवार को जब अटलजी को इशारों में यह बताया गया कि उन्हें भारत रत्न मिला है तो वे मुस्करा दिए। अटलजी के भांजे अनूप मिश्रा और सुषमा स्वराज ने भास्कर को यह जानकारी दी। 
भारत रत्न की घोषणा के साथ ही अटलजी के घर पर मंत्रियों का तांता लग गया। गुरुवार को जन्मदिन होने के चलते रिश्तेदार भी पहुंच रहे थे। परिजन के मुताबिक, उनकी तबीयत बहुत नासाज है। वे न बोल पाते हैं, न ठीक से सुन पाते हैं। पैरालिसिस अटैक के बाद पलंग या व्हीलचेयर पर ही रहते हैं। बच्चों की तरह हो गए हैं। जरा-जरा सी बात पर रूठ जाते हैं।
 
45 साल से उनकी सेवा कर रहे शिवकुमार के मुताबिक, अटलजी कभी-कभी देर रात तक जागते रहते हैं और फिर सुबह देर तक सोए रहते हैं। वह कभी खाने के शौकीन थे, लेकिन अब सिर्फ लिक्विड ही लेते हैं। एक बार रात में उनके रूम में टीवी चल रहा था। किसी ने बंद कर दिया तो वे रूठ गए। बिना कुछ खाए सो गए। जब टीवी ऑन किया, तब ही माने। उन्हें अखबार अब भी चाहिए। पढ़ नहीं पाते, सुनते हैं। मिलने-जुलने वाले आते रहते हैं, लेकिन वे किसी को नहीं पहचानते। हालांकि, कुछ समय पहले सुषमा स्वराज मिलने गई थीं  तो फौरन पहचान गए थे। ओओओओ... कर खुश हो गए थे।

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