नई दिल्ली. बीजेपी के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी 'मिडल क्लास' की पसंद बनकर उभर रहे हैं। कम से कम चुनावी सर्वे तो ऐसी ही तस्वीर पेश
कर रहे हैं। इंडिया टुडे-सी वोटर ने देश के 17463 लोगों से बात कर एक
सर्वे किया है। ये लोग समाज के मध्य वर्ग कहे जाने वाले तबके से ताल्लुक
रखते हैं। इनमें उच्च मध्य वर्ग, मध्य मध्य वर्ग और निम्न मध्य वर्ग शामिल
है। लोकसभा चुनाव
में यह तबका बहुत अहमियत रखता है। सर्वे में प्रधानमंत्री पद के
दावेदारों, अहम मुद्दों को लेकर जनता की राय मांगी गई। मोदी मिडल क्लास के
52.5 फीसदी लोगों की नजर में प्रधानमंत्री पद के सबसे काबिल उम्मीदवार हैं।
मध्य वर्ग के 15.8 फीसदी लोगों की नजर में अरविंद केजरीवाल और 11.5 फीसदी
लोगों की नजर में राहुल गांधी प्रधानमंत्री पद के सबसे काबिल उम्मीदवार हैं। सर्वे के विस्तृत नतीजे इस तरह से हैं:
नरेंद्र मोदी
पीएम पद के लिए पहली पसंद
मध्य वर्ग में नरेंद्र मोदी को लेकर उत्साह दिख रहा है। इस तबके के
52.5 फीसदी लोग मोदी को प्रधानमंत्री पद के लिए अपनी पसंद मानते हैं। मध्य
वर्ग के तहत आने वाला उच्च मध्य वर्ग (अपर मिडल क्लास) मोदी पर फिदा है।
सर्वे में शामिल इस वर्ग के 57 फीसदी लोगों ने मोदी को अपनी पसंद बताया है।
वहीं, मध्य मध्य वर्ग 54.2 फीसदी और निम्न मध्य वर्ग के 49.1 फीसदी लोग
मोदी को प्रधानमंत्री पद के अच्छे उम्मीदवार के रूप में देखते हैं। यह
आंकड़ा मोदी को राहुल गांधी, मनमोहन सिंह और अरविंद केजरीवाल से कहीं आगे खड़ा करता है।
कितने हैं संतुष्ट
मध्य वर्ग के 52.5 फीसदी लोग मोदी के कामकाज से बहुत ज्यादा खुश हैं।
वहीं इस तबके के 17.6 फीसदी लोग कुछ हद तक मोदी के काम से संतुष्ट हैं।
मिडल क्लास के 18.7 फीसदी लोग मोदी के प्रदर्शन से बिल्कुल खुश नहीं है।
वहीं, 11.1 फीसदी लोग इस बारे में कोई राय नहीं रखते हैं। उच्च मध्य वर्ग
में 57.7 फीसदी लोग मोदी के कामकाज से खुश, 16.9 फीसदी कुछ हद तक संतुष्ट,
19.3 फीसदी बिल्कुल खुश नहीं और 6.1 फीसदी कोई राय नहीं रखते। मध्य मध्य
वर्ग के 53.2 फीसदी लोग मोदी के कामकाज से बहुत खुश, 17.2 फीसदी कुछ हद तक
संतुष्ट, 17.7 फीसदी बिल्कुल खुश नहीं और 11.9 फीसदी इस बारे में कोई राय
नहीं रखते हैं। निम्न मध्य वर्ग के 51.1 फीसदी लोग मोदी के कामकाज से काफी
संतुष्ट हैं। इस तबके के 18.2 फीसदी लोग मोदी के कामकाज से कुछ हद तक
संतुष्ट, 19.8 फीसदी बिल्कुल खुश नहीं और 10.9 फीसदी लोग इस बारे में कोई
राय नहीं रखते हैं।
इन आंकड़ों को ऐसे समझिए
कांग्रेस की अगुवाई वाली यूपीए सरकार में भ्रष्टाचार, महंगाई और
बेरोजगारी के चलते इस वर्ग का उससे मोहभंग कई सर्वे में साफ दिख रहा है। इस
वर्ग में आम आदमी पार्टी ने अपनी पैठ बनाई। लेकिन केजरीवाल की 49 दिनों तक
चली सरकार के गिरने और उसके कामकाज के तरीके से मध्य वर्ग के एक हिस्से
में आम आदमी पार्टी को लेकर नाराजगी पनप रही है। सर्वे इस बात की तरफ इशारा
कर रहा है। मोदी को कांग्रेस से नाराजगी और आम आदमी पार्टी के रुख से
फायदा मिलता दिख रहा है। मोदी ने विकास के गुजरात मॉडल, अपनी असरदार
प्रशासक की इमेज, निर्णय लेने वाली सरकार की छवि की जबर्दस्त मार्केटिंग कर
उम्मीदों से भरे मध्य वर्ग को अपनी तरफ करने की जबर्दस्त कोशिश कर रहे
हैं। सर्वे बताता है कि वह इसमें कामयाब भी हो रहे हैं। लेकिन मोदी के लिए
चिंता की बात यह हो सकती है कि उनकी लोकप्रियता उच्च मध्य वर्ग में ज्यादा
और निम्न मध्य वर्ग में कम है।
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