आपका-अख्तर खान

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21 फ़रवरी 2011

देश के गद्दार और दुश्मनों को फांसी देने का सिल्सिया अगर चल जाये तो शायद देश में गद्दारी,भ्रष्टाचार और देश द्रोहिता के अपराध ही थम जाएँ लेकिन अफ़सोस देश में भ्रस्ताचार का घुन सबसे खतरनाक हे इसमें सभी नेता , अधिकारी शामिल होते हें इसलियें भ्रस्ताचार को वोह फंसी की सजा नहीं बनाना चाहते और सरकार तो खुद इसमें शामिल हे इसलियें वोह तो चुप रहती ही हे ।
देश में कोंग्रेस हो भाजपा हो बाबा रामदेव हो चाहे जो भी हों वोह सब राजनीति करना चाहते हें कुर्सी हथिया आकर अपने काले धन को सफेद करना चाहते हें सरकारी खर्च पर पद और सुरक्षा लेकर एश करना चाहते हें और जनता हे के सब जानती हे लेकिन सियासत के टुकड़ों में बंट कर शोषित हो रही हे हालात यह हें के देश में आज हर भ्रष्ट नेता देश के लियें कसाब से ज्यादा खतरनाक बन गया हे कसब देश का हमलावर था लेकिन वोह देश का नहीं था देश का दुश्मन था उसे उसके अपराध की सजा हाईकोर्ट ने भी फांसी के रूप में बरकरार रखी हे लेकिन जो लोग हमारे देश के हें जो लोग देश में रहकर देश की जनता और देश को घुन की तरह से चाट रहे हें जो लोग आस्तीन के सांप बने हें ऐसे गद्दारों के लियें देश में कानून सिर्फ सजा तीन साल वोह भी हो या नहीं जेल जाएँ तो घर जेसी आरामदायक गेर कानूनी सुविधाएँ बस ऐसा ही होता हे हम चोर तो हमें रोकने के लियें कोई कानून नहीं ............ । देश में यह क्या तमाशा हे जनता जानती हे नेता जानते हें लेकिन देश की जनता की स्पोच सियासत में बंट गयी हे हालात यह हें के सब लोगों ने अपने अपने नेता जो चाहे देश के गद्दार हो अपराधी हों उन्हें खुदा मान लिया हे उनके लियें देश और समाज से बढ़ कर अब अपना निजी नेता निजी सियासी पार्टी हे उनका नेता कोई अपराध करे तो भूल और दुसरा कोई भी काम करे तो अपराध इस कार्यवाही से देश छिन्न भिन्न की स्थिति में आ गया हे । देश के नेता तो देश के लियें इन हालातों में सोच नहीं सकते नेता की सोच कुर्सी तक और जनता की सोच नेता तक सिमट कर रह गयी हे इसलियें अब देश की जनता को अंग्रेजों के ज़माने की जनता बनना होगा देश को पहले नेता और रिश्तों को बाद में देखना होगा और देश की तरक्की मान सम्मान सुरक्षा और विकास के आड़े जो भी आये उससे सडकों पर निपटना होगा कुछ लोग तो ऐसे हें जो केवल और केवल सियासी हें और कुछ लोग धर्म गुरु के नाम पर जनता को बहका रहे हें और कुछ लोग धर्म नेता के नाम पर बरगला रहे हें तो कई ऐसे हें के कला और योग के नाम पर जनता का शोषण कर रहे हें अख़बार मिडिया इन सबको इसलियें विज्ञापित कर रहे हें इसलियें सुरक्षित कर रहे हें के इन लोगों को विज्ञापन के रूप में इन संस्थाओं से बराबर का आनुपातिक हिस्सा मिलता हे अख़बार और मिडिया के गले में भर्स्ट लोगों के विज्ञापन का पत्ता बंधा हे इसलियें उनसे भी कोई उम्मीद इस मामले में बेकार हे बस एक आम आदमी एक आम हिन्दुस्तानी ही हे जो देश के इस दर्द को समझ सकता हे और भूखा प्यासा रहकर देश और समाज की सुरक्षा और मान सम्मान के लियें सडकों पर उतर कर लड़ाई लढ़ सकता हे तो उठो देशवासियों जागो देशवासियों सडकों पर उतरो जो लोग जनता की अदालत में भ्रष्ट हें जो लोग देश की सुरक्षा के लियें खतरा हें उन्हें सडकों पर पकड़ों और सडकों पर इन्साफ करो ऐसा तब तक करते रहो जब तक देश के सभी गद्दार सभी भ्रष्ट खत्म ना होअजाये या अपने काले कारनामों से तोबा न कर लें ।
दोस्तों आज मुझे कुरान की एक आयत सुरे तोबा इस वक्त याद आ रही हे और इस आयत की शुरुआत बिस्मिल्लाह से नहीं होती हे आयत का सार यही हे जो लोग गद्दार हें जो लोग धोखेबाज़ हें जो लोग झूंठे और मक्कार हे जो लोग बार बार प्रयासों के बाद भी सुधर नहीं रहे हें और जो लोग देश धर्म से उपर खुद के लाभ को मान रहे हें जो लोग बार बार समझाने पर भी नहीं समझ रहे हें इस अवसर पर गीता का सार भी याद आ रहा हे के जो राष्ट्र का दुश्मन हे वोह सिर्फ दुश्मन हे वोह भाई पिता रिश्तेदार नहीं हे और गीता हो या कुरान दोनों का हुक्म हे के ऐसे लोगों को मारों जहाँ मिलें वहां मारो भगा भगा कर मारो और इनके साथ किसी भी तरह की रियायत मत करो तो दोस्तों देश को बचाने के लियें अब बस यही एक फार्मूला हे के नेता बन कर जो देश से गद्दारी कर रहे हें धर्म गुरु बनकर जो देश को बाँट रहे हें पूंजीपति बन कर जो देश को बेच रहे हें उन सभी को सडकों पर फांसी दो और इस देश को बचालो ............ । अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

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