श्रीमती स्मृति ईरानी को उनका एक बयान याद कराते हुए मैने आज 29 अप्रैल
2017 को एक चिठ्ठी भेजी। और साथ मे एक हजार रूपये का चैक उनको भेजकर आग्रह
किया कि इन पैसो से चूड़ियाँ खरीद कर प्रधानमंत्री को भेजे ओर सभी
देशवासियों की तरफ से विरोध दर्ज कराये।
दरअसल 2013 में श्रीमती स्मृति ईरानी ने एक आतंकी हमले मे सैनिकों के शहीद होने पर एक सभा को संबोधित करते हुए कहा था की मन करता है कि केन्द्र में बैठी हुई सरकार ओर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को अपनी ये चूड़ियाँ भेंट कर दूं, और कहूं कि तुम पहन कर देखों जरा।
अतः मै स्मृति जी को इस चिठ्ठी के माध्यम से कहना चाहता हूँ कि आप अपने उसी तेवर पर कायम रहें। ओर मै अपने देशवासियों की तरफ से एक हजार रूपये का चैक आपको भेज रहा हूँ ओर आशा करता हूँ आपसे अनुरोध करता हूँ कि आप इन पैसों से चूड़ियाँ खरीदकर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भेजे ओर हम सबकी तरफ से,साथ मे अपनी तरफ से सुकमा ओर कुपवाड़ा हमले पर प्रधानमंत्री ओर भारत सरकार के सामने विरोध दर्ज कराये।ओर उनको भी इन चूड़ियो का वही इस्तेमाल करने को कहे जो आपने मनमोहन सिंह जी को कहा था।
दरअसल 2013 में श्रीमती स्मृति ईरानी ने एक आतंकी हमले मे सैनिकों के शहीद होने पर एक सभा को संबोधित करते हुए कहा था की मन करता है कि केन्द्र में बैठी हुई सरकार ओर प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को अपनी ये चूड़ियाँ भेंट कर दूं, और कहूं कि तुम पहन कर देखों जरा।
अतः मै स्मृति जी को इस चिठ्ठी के माध्यम से कहना चाहता हूँ कि आप अपने उसी तेवर पर कायम रहें। ओर मै अपने देशवासियों की तरफ से एक हजार रूपये का चैक आपको भेज रहा हूँ ओर आशा करता हूँ आपसे अनुरोध करता हूँ कि आप इन पैसों से चूड़ियाँ खरीदकर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भेजे ओर हम सबकी तरफ से,साथ मे अपनी तरफ से सुकमा ओर कुपवाड़ा हमले पर प्रधानमंत्री ओर भारत सरकार के सामने विरोध दर्ज कराये।ओर उनको भी इन चूड़ियो का वही इस्तेमाल करने को कहे जो आपने मनमोहन सिंह जी को कहा था।
एक आम भारतीय
नीरज गुर्जर
नीरज गुर्जर
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