आपका-अख्तर खान

हमें चाहने वाले मित्र

05 दिसंबर 2012

देश में आखिर सांसदों की यह लुट ..यह झूंठ संसद से वोट के वक्त भागने का भगोड़ापन कब तक चलेगी ..क्या ऐसे दोहरे किरदार वाले सांसदों को फांसी नहीं मिलना चाहिए क्या ऐसे सांसदों की सदस्यता और राजनितिक पार्टियों की मान्यता खत्म नहीं होना चाहिए


मुलायम सिंह ....मायावती सहित देश के सत्तर सांसदों ने देश की इज्ज़त और संसद की गरिमा को तार तार कर दिया .. अफ़सोस की बात है के हमारे देश में किसी  भी राष्ट्रपति ...सुप्रीम कोर्ट के मुख्यन्यायाधीश ..समाज सेवी संस्था या आदेश भक्त संथान सहित राजनितिक संगठनों ने देश में सांसदों के इस भ्रष्टाचार और गरिमाविहीं कारवाही को रोकने के लियें कोई पहल नहीं की है ..............हमारे देश में कल जो हुआ वोह देश ने देखा है विश्व ने देखा है बसपा और सपा के सुप्रीमो संसद में कुछ कहते है एफ दी आई का विरोध करते है और इसी मुद्दे पर वोट डालते वक्त सरकार से रिश्वत लेकर संसद से भाग जाते है ऐसे सांसद कुल सत्तर है अगर संसद का कानून हो के किसी भी मुद्दे पर अपनी राय हाँ या ना में देना आवश्यक है और वोट के वक्त जो कोई भी इस खुली सोदेबाज़ी की प्रक्रिया के तहत भगोड़ा होता है तो ऐसे सांसदों की सदस्यता तो ख़त्म होना  ही चाहिए और ऐसे सांसदों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर इन्हें कठोर सजा देने का प्रावधान होना चाहिए बलके इसे देश द्रोह का अपराध मानकर ऐसे सांसदों को तो म्रत्यु दंड यानि फंसी की सज़ा दी जाना चाहिए ...देश की लोकसभा देश का मंदिर है यहाँ जनता और देश का भविष्य तय होता है लेकिन इस संसद की गरिमा को आघात इस तरह से पहुंचाया जाता रहा तो देश का भविष्य गर्क में चला जाएगा ..कसाब ..अफज़ल गुरु तो देश के दुश्मन है ही सही लेकिन इन सांसदों का क्या जो कहते कुछ और है करते कुछ और फिर संसद का कर्तव्य है के किसी  भी मुद्दे पर अपनी राय हाँ या ना में दे और उसके तर्क दे वोटिंग के वक्त संसद से भागने वाले भगोड़े सोदेबाज़ लोगों को अगर दण्डित करने का प्रावधान नहीं रखा तो यह देश को बेचने में देरी नहीं करेंगे तो भाई ऐसे सत्तर सांसद जिन्हें फंसी की सजा मिलना चाहिए उनकी बेनामी सम्पत्तियों की आज से ही जांच शुरू हो तो बात बन जाए ...............
 विदेशी किराना ( पर सरकार लोकसभा में जीत गई है। अब गुरुवार को राज्‍यसभा में इस पर बहस होगी। फिर शुक्रवार को वोटिंग होगी। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्‍वराज द्वारा लाए गए प्रस्‍ताव पर बहस के बाद हुए बुधवार शाम हुए मतविभाजन के तहत सरकार के पक्ष में 253 वोट जबकि सरकार के खिलाफ 218  वोट पड़े। इसके अलावा फेमा पर तृणमूल कांग्रेस के सांसद सौगत रॉय द्वारा लाया गया प्रस्‍ताव भी गिर गया। इस प्रस्‍ताव पर हुए मतविभाजन में सरकार के पक्ष में 254 जबकि सरकार के खिलाफ 224 वोट पड़े। 
 
एफडीआई पर वोटिंग से पहले बीएसपी और सपा के सांसदों ने वॉकआउट कर सरकार को बड़ी राहत दे दी। सदन में बीएसपी संसदीय दल के नेता दारा सिंह चौहान की अगुवाई में पार्टी 21 सांसद सदन से बाहर चले गए। इनका आरोप है कि केंद्रीय वाणिज्‍य मंत्री ने एफडीआई पर जवाब देते हुए बीएसपी की चिंताओं का कोई जिक्र नहीं किया। बाद में सपा के 22 सांसदों ने भी वॉकआउट कर दिया। सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव ने कहा कि उनकी पार्टी के सांसदों ने इसलिए वॉकआउट किया क्‍योंकि सरकार ने किसानों और किराना दुकानदारों का अपमान किया है। सदन से बाहर निकलने के बाद पीएम ने कहा, 'वोटिंग के नतीजे से साफ हो गया कि एफडीआई को लोकसभा की मंजूरी मिल गई है।' सुषमा ने कहा कि एसपी और बीएसपी की कथनी-करनी का पता चल गया है। मुलायम सिंह यादव अगर सदन में होते तो एफडीआई नहीं आ सकती थी।।।
देश में आखिर सांसदों की यह लुट ..यह झूंठ संसद से वोट के वक्त भागने का भगोड़ापन कब तक चलेगी ..क्या ऐसे दोहरे किरदार वाले सांसदों को फांसी नहीं मिलना चाहिए क्या ऐसे सांसदों की सदस्यता और राजनितिक पार्टियों की मान्यता खत्म नहीं होना चाहिए 

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

दोस्तों, कुछ गिले-शिकवे और कुछ सुझाव भी देते जाओ. जनाब! मेरा यह ब्लॉग आप सभी भाईयों का अपना ब्लॉग है. इसमें आपका स्वागत है. इसकी गलतियों (दोषों व कमियों) को सुधारने के लिए मेहरबानी करके मुझे सुझाव दें. मैं आपका आभारी रहूँगा. अख्तर खान "अकेला" कोटा(राजस्थान)

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...