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17 जून 2010

राजस्थान के लावारिस मुस्लिमों को ताज की तलाश

राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के राज में उपेक्षित रहे मुसलमानों को अब ताज की तलाश हे और अनेक मुस्लिम गहलोत और सी पी जोशी की लाइन में लगे हें राजस्थान ही कोंग्रेस शासन का एक मात्र ऐसा प्रदेश हे जहां सत्ता में आने से अब तक हज कमेटी,अल्पसंख्यक आयोग, मदरसा बोर्ड,वक्फ बोर्ड, अल्पसंख्यक वित्त विकास निगम , मेवात बोर्ड,अल्पसंख्यक विभाग , पन्द्रह सूत्रीय कार्यक्रम समिति सहित अनेक आयोगों,निगमों के पद खाली रखे गये हें यहाँ बिना जनप्रतिनिधि के ही सरकार ने काम चलाया हे इस कारण इन दिनों आम मुसलमान लावारिस सा हो या हे हालात यह हे के उनके दुःख दर्द सुनने वाला कोइऊ और अधिकारी या नेता नही मिल रहा हे अपनी इस उपेक्षा से त्रस्त मुसलमान अब नियुक्तियों के इन्तिज़ार में हे अनेक मुस्लिम तो कोंग्रेस के खिलाफ बगावत काबिगुल भी बजा चुके हें कोटा में भी इस मामले में गम्भीर सुगबुगाहटे चल रही हे वक्त रहते अगर अशोक गहलोत सी पी जोशी और कोंग्रेस हाई कमान ने इस मामले में डेमेज कंट्रोल नही किया तो राजनितिक हालात कोंग्रेस के भविष्य के लियें संकट मय हो सकते हें अब इस मामले में कोंरेस सन्गठन और कोंग्रेस में मंत्री लोग ही जाने लेकिन किरोड़ी मीना सांसद की पत्नी गोलमा को मंत्री पद से हटाने के बाद राजनितिक हालात में बदलाव जरुर आयेगा। अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान

2 टिप्‍पणियां:

  1. अख्तर जी, राजस्थान के राजनीतिक हालात से ज्यादा वाकिफ तो नहीं हूँ, परन्तु ये जरुर कह सकता हूँ कि इस देश में कांग्रेस द्वारा मुस्लिम तुष्टिकरण की जो घटिया नीति पिछले कई सालों से चलाई जा रही है, इसने देश का बेडागर्क किया है. ये वक़्त है सभी शीर्ष पार्टियों को उनको किये का जवाब दिया जाये और अपने अपने क्षेत्र के लिए नए नेतृत्व की स्थापना की जाये. आज कांग्रेस में जनप्रिय नेताओं की कमी है सभी एक राज परिवार (सोनिया - राहुल) के चमचे हैं, यहाँ तक की अधिकाँश मीडिया भी उनकी तारीफ़ में कसीदे पढ़ पैसे खाती है. आप मानकर चलिए हिन्दुस्तान में लोकतंत्र नहीं है. हद से ज्यादा विदेशी दबाव है, इसाई मिशनरियों को वरीयता दी जाती है. अधिसंख्य हिन्दू मुस्लिम आबादी को साम्प्रदायिकता की आग में जलाने के लिए साजिश किया जाता है. कांग्रेस पार्टी(विशेषकर नेहरु गांधी परिवार में) आस्था रखना देश के विभाजन को पुनः न्योता देना है.

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  2. वोट मिल गए अब क्यों ध्यान दें गहलोत जी |
    जब चुनाव आयेंगे उससे पहले डेमेज कंट्रोल के नाम पर फिर थोड़ी सी लोलीपोप पकड़ा दी जाएगी या फिर बीजेपी के नाम से डराकर वोटों का फिर ध्रुवीकरण कर लिया जायेगा !!

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