मेरी बाक़ी
ज्दिंगी के
कुछ लम्हे
कुछ पल
क्या कोई मेरे साथ
गुजारेगा ..
में तो हाँ मेतो
उनके लिए
सिर्फ एक खिलौना था
जो टूट गया
तो देख लो
टूटे हुए खिलोने को
कूड़े के ढेर में डाल कर
आज
वोह फिर
दुसरे नये खिलोने से
अपना दिल बहला रहे है ..........
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
ज्दिंगी के
कुछ लम्हे
कुछ पल
क्या कोई मेरे साथ
गुजारेगा ..
में तो हाँ मेतो
उनके लिए
सिर्फ एक खिलौना था
जो टूट गया
तो देख लो
टूटे हुए खिलोने को
कूड़े के ढेर में डाल कर
आज
वोह फिर
दुसरे नये खिलोने से
अपना दिल बहला रहे है ..........
अख्तर खान अकेला कोटा राजस्थान
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